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Genpact में 12 वर्षों की शानदार पारी को विदा कहेंगे सीईओ ‘टाइगर’

Genpact की मौजूदगी 16 देशों में थी और इसके 57 डिलीवरी केंद्र थे लेकिन अब 20 देशों में इसकी मौजूदगी है और इसके 80 से अधिक डिलिवरी केंद्र हैं।

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सौरभ लेले   
आयुष्मान बरुआ   
Last Updated- November 09, 2023 | 9:49 PM IST

जेनपैक्ट के अध्यक्ष और मुख्य कार्यकारी अधिकारी (CEO) एनवी ‘टाइगर’ त्यागराजन ने एक बार किस्सा बताया था कि उन्हें अपना कॉरपोरेट उपनाम कैसे मिला।

दरअसल वह स्कूल में अपनी दूसरी कक्षा के दौरान विलियम ब्लेक की मशहूर कविता ‘टाइगर टाइगर बर्निंग ब्राइट’ सीख रहे थे। उसी दौरान उनके दोस्तों के लिए उनके नाम का उच्चारण करना मुश्किल हो रहा था और चूंकि उनकी आंखें भी चीते की तरह चमकती थी तो उनके दोस्तों ने सोचा कि उन्हें टाइगर ही कह कर पुकारा जाए।

बिजनेस प्रोसेस आउटसोर्सिंग कंपनी को डेटा और आर्टिफिशियल इंटेलीजेंस (एआई) नेतृत्व वाली डिजिटल कंपनी में तब्दील करने वाले टाइगर ने जेनपैक्ट में 12 वर्षों से अधिक समय तक नेतृत्व की शानदार पारी खेलने के बाद अब शीर्ष पद छोड़ने का फैसला किया है।

टाइगर ने जब कंपनी के मुख्य परिचालन अधिकारी (सीओओ) की भूमिका सफलतापूर्वक निभा ली, उसके बाद उन्हें वर्ष 2011 में जेनपैक्ट के दूसरे सीईओ के रूप में नियुक्त किया गया था।

उन्होंने जेनपैक्ट के लिए एक नए वैश्विक कारोबार मॉडल का नेतृत्व किया और इसे जनरल इलेक्ट्रिक (जीई कैपिटल इंटरनैशनल सर्विसेज) के एक विभाग से एक वैश्विक पेशेवर सेवा कंपनी में बदल दिया, जो अपने ग्राहकों को डिजिटल बदलाव वाले समाधानों का सुझाव देती है।

वित्तीय सेवाओं, उपभोक्ता और स्वास्थ्य सेवा के लिए कंपनी के वैश्विक कारोबार प्रमुख बालकृष्ण ‘बीके’ कालरा फरवरी 2024 से जेनपैक्ट के नए सीईओ होंगे।

जब टाइगर ने वर्ष 2011 में फर्म की जिम्मेदारी संभाली थी तब इसका शुद्ध राजस्व 1.60 अरब डॉलर था। इसमें जीई का करीब 31.2 प्रतिशत का योगदान था। वर्ष 2021 में जीई के अलावा अन्य ग्राहकों से जेनपैक्ट का राजस्व 3.6 अरब डॉलर या वर्ष 2021 के कुल शुद्ध राजस्व के 91 प्रतिशत के स्तर पर पहुंच गया।

वर्ष 2022 से ही कंपनी ने कुल राजस्व में जीई के योगदान को जोड़ना शुरू कर दिया है और इसे अपने पोर्टफोलियो की 800 फर्मों में एक क्लाइंट बना लिया है।

टाइगर ने एक और बड़ा बदलाव राजस्व बढ़ाने वाली उभरती प्रौद्योगिकियों पर जोर देने के साथ किया। 31 दिसंबर, 2022 तक कंपनी का वार्षिक राजस्व 4.37 अरब डॉलर था और डेटा-टेक तथा एआई सेवा विभाग से मिलने वाला राजस्व कुल राजस्व का 44 प्रतिशत हो गया।

जेनपैक्ट अब जेनरेटिव एआई पर बड़ा दांव लगा रही है। टाइगर ने कुछ समय पहले बिज़नेस स्टैंडर्ड को बताया था कि जेनपैक्ट एआई में तीन सालों के दौरान 60 करोड़ डॉलर का निवेश करेगी।

टाइगर के 12 वर्षों के कार्यकाल के दौरान कंपनी में कर्मचारियों की संख्या भी दोगुनी हो गई जो वर्ष 2011 के 55,000 कर्मचारियों से बढ़कर वर्ष 2022 में 115,000 हो गए।

कंपनी की मौजूदगी 16 देशों में थी और इसके 57 डिलीवरी केंद्र थे लेकिन अब 20 देशों में इसकी मौजूदगी है और इसके 80 से अधिक डिलिवरी केंद्र हैं। कालरा वर्ष 1999 में जेनपैक्ट से जुड़े और उन्होंने नेतृत्व करने वाली कई भूमिकाएं निभाई हैं।

First Published : November 9, 2023 | 9:49 PM IST