भारत का केबल और वायर (C&W) उद्योग इस समय शानदार ग्रोथ दिखा रहा है। इंफ्रास्ट्रक्चर का तेजी से विस्तार, रिन्यूएबल एनर्जी में बड़े निवेश, इलेक्ट्रिक गाड़ियों की बढ़ती संख्या और रियल एस्टेट सेक्टर की मजबूती इसकी मांग को लगातार बढ़ा रहे हैं। मोतीलाल ओसवाल की रिपोर्ट में कहा गया है कि निवेशकों की चिंताओं के बावजूद इस सेक्टर के लंबे समय तक बढ़ने वाले कारण पूरी तरह सुरक्षित हैं। पावर सेक्टर अपग्रेडेशन, ट्रांसपोर्ट इंफ्रास्ट्रक्चर और डेटा सेंटर्स जैसी नई जरूरतें इस उद्योग को और मजबूती दे रही हैं।
पहले यह डर था कि नए प्लेयर्स के आने से कंपटीशन बहुत बढ़ जाएगा। लेकिन मोतीलाल ओसवाल का मानना है कि स्थिति फिलहाल काबू में है, क्योंकि नए प्रोजेक्ट अभी बड़े स्तर पर नहीं पहुंचे हैं और बाजार की मांग इतनी मजबूत है कि अतिरिक्त सप्लाई को आसानी से समेट ले रही है। वहीं, कॉपर और एल्यूमिनियम जैसे कच्चे माल की कीमतों में बढ़ोतरी कंपनियां ग्राहकों पर डाल पा रही हैं, जिससे रेवेन्यू ग्रोथ पर असर नहीं पड़ा है।
FY14 से FY25 के बीच घरेलू C&W बाजार लगभग 9% CAGR से बढ़कर ₹90,000 करोड़ तक पहुंच गया। मोतीलाल ओसवाल बताता है कि इसमें इंफ्रास्ट्रक्चर निवेश, रिन्यूएबल एनर्जी, डिफेंस और रियल एस्टेट बड़े ड्राइवर हैं। संगठित कंपनियों का हिस्सा भी GST और सुरक्षा नियमों की वजह से लगातार बढ़ता जा रहा है।
इस सेक्टर में एक्सपोर्ट भी अब बहुत मजबूत बेस बन गया है। FY20 से भारत C&W का नेट एक्सपोर्टर है और FY17-25 के बीच एक्सपोर्ट लगभग 19% की सालाना दर से बढ़े हैं। हाल के महीनों में अमेरिका और यूएई जैसे देशों में एक्सपोर्ट में तेज बढ़ोतरी देखने को मिली है। दुनिया में रिन्यूएबल एनर्जी और इलेक्ट्रिक गाड़ियों की बढ़ती मांग और चाइना+1 स्ट्रैटेजी भारत को और मजबूत सप्लायर बना रही है।
आगे की स्थिति भी अच्छी नजर आ रही है। मोतीलाल ओसवाल का कहना है कि सड़कों, रेलवे, मेट्रो और एयरपोर्ट्स में बढ़ता खर्च और जल्दी बन रहा डिजिटल इंफ्रास्ट्रक्चर घरेलू मांग को लंबे समय तक बनाए रखेगा। FY40 तक प्रति व्यक्ति बिजली की खपत दोगुनी से ज्यादा होने की उम्मीद है, जिससे केबल और ट्रांसमिशन की जरूरत लगातार बढ़ती रहेगी।
मोतीलाल ओसवाल के अनुसार, Polycab अब घरेलू संगठित C&W बाजार का सबसे बड़ा खिलाड़ी बन चुका है। इसका मार्केट शेयर FY20 के 18-19% से बढ़कर अब 26-27% हो गया है। कंपनी के पास विविध प्रोडक्ट्स हैं, सप्लाई चेन मजबूत है और डिस्ट्रीब्यूशन नेटवर्क बहुत बड़ा है। मार्जिन भी 13-15% के स्तर पर स्थिर हैं। FY25 में इसके FMEG सेगमेंट ने 29% की बढ़त दिखाई और चौथी तिमाही में ब्रेकईवन हासिल किया। Project Spring के तहत Polycab का लक्ष्य है कि अपने दोनों बिजनेस को इंडस्ट्री की तुलना में 1.5–2 गुना तेजी से बढ़ाया जाए। अगले पांच साल में कंपनी 6,000–8,000 करोड़ रुपये का निवेश करेगी, जिससे उत्पादन क्षमता बढ़ेगी और एक्सपोर्ट मजबूत होंगे।
मोतीलाल ओसवाल की रिपोर्ट के अनुसार, KEI Industries भी तेजी से अपने बिजनेस का विस्तार कर रही है। इसका Sanand में 1,700 करोड़ रुपये का ग्रीनफील्ड प्रोजेक्ट FY27 तक 5,500–6,000 करोड़ रुपये की नई क्षमता जोड़ देगा। FY20 में कंपनी की B2C रेवेन्यू का हिस्सा 29% था, जो FY25 में बढ़कर 52% हो गया है। FY25 में एक्सपोर्ट सेल्स 15% बढ़ीं और कंपनी का लक्ष्य है कि अगले तीन साल में एक्सपोर्ट का हिस्सा 15-18% तक बढ़ाया जाए। रिपोर्ट के अनुसार FY25-28E के दौरान कंपनी का रेवेन्यू 18% सालाना और PAT 21% सालाना बढ़ने का अनुमान है।
डिस्क्लेमर: यह खबर ब्रोकरेज की रिपोर्ट के आधार पर है, निवेश संबंधित फैसले लेने से पहले एक्सपर्ट की सलाह जरूर लें।