ऐसे समय में जब बड़ी संख्या में टेक स्टार्टअपों ने अपनी विस्तार योजनाओं को रोक दिया है, मीशो अपने उत्पाद पोर्टफोलियो का विस्तार कर रही है और इसमें विविधता ला रही है।
सॉफ्टबैंक समर्थित इस ई-कॉमर्स फर्म का लक्ष्य देश में नए उपभोक्ताओं के लिए शॉपिंग का समानांतर गंतव्य बनना है। इसके लिए मीशो शहरी और ग्रामीण दोनों क्षेत्र के उपभोक्ताओं तक पहुंचते हुए सबसे कम कीमत पर विस्तृत और गुणवत्तापूर्ण किस्मों की पेशकश करेगी।
अपना बर्न रेट कम करने के बावजूद कंपनी ऐसा करने की योजना बना रही है। मीशो ने मासिक कैश बर्न 90 प्रतिशत तक कम करके चार अरब डॉलर कर दिया है। हालांकि खर्च में खासी कमी आई है, लेकिन कंपनी ने कहा कि वह तेजी के विकास पथ राह पर चल रही है।
इन प्रयासों से मीशो को लाभ मिलने और फर्म को अपने आईपीओ की तैयार में मदद मिलने की उम्मीद है। मीशो का राजस्व वित्त वर्ष 22 में 4.5 गुना बढ़कर 3,232 करोड़ रुपये हो गया, जबकि वित्त वर्ष 21 में यह 792 करोड़ रुपये था। हालांकि कारोबार पर नजर रखने वाले प्लेटफॉर्म टॉफलर द्वारा जुटाए गए आंकड़ों के अनुसार घाटा 7.5 गुना बढ़कर 3,247 करोड़ रुपये हो गया है।
कंपनी के उत्पाद पोर्टफोलियो में विविधता की रणनीति के बारे में मीशो के सीएक्सओ (कारोबार) उत्कृष्ट कुमार ने एक बातचीत में कहा कि हम लाभ पर ध्यान केंद्रित कर रहे हैं क्योंकि हम एक निश्चित स्तर पर पहुंच चुके हैं और हम आईपीओ की कार्ययोजना के लिए तैयार होने की योजना बना रहे हैं।