दक्षिण कोरिया की नामी वाहन कंपनियों ह्युंडै मोटर कंपनी और किआ कॉरपोरेशन ने कोलकाता की बैटरी कंपनी एक्साइड इंडस्ट्रीज की सहायक इकाई एक्साइड एनर्जी सॉल्यूशंस के साथ हाथ मिलाया है। इस गठजोड़ के तहत भारत में इलेक्ट्रिक वाहनों (ईवी) के लिए बैटरी यहीं बनाई जाएंगी।
भारतीय बाजार में अपनी ईवी योजना को परवान चढ़ाने के लिए ह्युंडै और किआ का लक्ष्य ईवी बैटरी भी यहीं बनाना है। कंपनी खास तौर पर लीथियम-आयन फॉस्फेट सेल पर ध्यान केंद्रित करेगी। ह्युंडै मोटर ने एक बयान में कहा कि इस अहम कदम के साथ ही कंपनी अपने इलेक्ट्रिक वाहनों में भारत में बनी बैटरियां लगाने के मामले में सबसे आगे होगी।
ह्युंडै मोटर और किआ की शोध एवं विकास इकाई के प्रमुख एवं अध्यक्ष ह्युई वोल यांग ने कहा, ‘सरकार के कार्बन तटस्थ लक्ष्य के लिहाज से भारत इलेक्ट्रिक वाहनों के लिए प्रमुख बाजार है, जिसे देखते हुए स्थानीय स्तर पर बैटरी बनाकर वाहनों की लागत को होड़ करने लायक बनाना अहम रहेगा। एक्साइड एनर्जी सॉल्यूशंस के साथ वैश्विक साझेदारी से ह्युंडै और किआ अपने ईवी में भारत में ही बनी बैटरियां लगाने के मामले में औरों से आगे निकल जाएगी।’
इस साझेदारी की घोषणा से एक्साइड इंडस्ट्रीज का शेयर बीएसई पर 16.2 फीसदी चढ़कर 377 रुपये पर बंद हुआ, जो पिछले 52 हफ्ते का सबसे ऊंचा भाव है।
एक्साइड इंडस्ट्रीज ने स्टॉक एक्सचेंज को बताया कि उसकी सहायक इकाई एक्साइड एनर्जी सॉल्यूशंस ने ह्युंडै मोटर कंपनी तथा किआ कॉरपोरेशन के साथ भारत के ईवी बाजार में रणनीतिक सहयोग के लिए गैर-बाध्यकारी करार किया है।
इस समझौते के अनुसार दोनों पक्ष ह्युंडै मोटर के भारतीय बाजार के लिए तैयार इलेक्ट्रिक वाहनों की खातिर बैटरी सेल का विकास, उत्पादन और आपूर्ति के लिए काम करेंगे। जब पूछा गया कि बैटरी का उत्पादन कब से शुरू होगा और क्या यह समझौता वैश्विक स्तर पर भी लागू होगा तो ह्युंडै मोटर इंडिया के प्रवक्ता ने कोई प्रतिक्रिया नहीं दी।
एक्साइड इंडस्ट्रीज ने लीथियम आयन और मॉड्यूल कारोबार में उतरने के लिए 2022 में एक्साइड एनर्जी सॉल्यूशंस की बुनियाद रखी थी। लेड एसिड बैटरी बनाने में एक्साइड अग्रणी कंपनी है और 75 साल से इस कारोबार में है।
पिछले साल अगस्त में एक्साइड ने कहा था कि कंपनी बेंगलूरु में लीथियम आयन सेल बनाने के लिए कारखाना लगा रही है और वित्त वर्ष 2025 में पहले चरण से उत्पादन शुरू हो जाएगा। इस बीच एक्साइड एनर्जी ने नेक्स्टचार्ज ब्रांड बनाया है, जिसके तहत गुजरात में लीथियम-आयन बैटरी मॉड्यूल की आपूर्ति की जा रही है। पिछले साल एक्साइड की सालाना
आम बैठक में कंपनी के प्रबंध निदेशक और सीईओ सुबीर चक्रवर्ती ने कहा था कि एक्साइड एनर्जी सॉल्यूशंस और एक्साइड एनर्जी प्राइवेट लिमिटेड का विलय किया
जाएगा।
देश में लीथियम आयन बैटरी क्षेत्र में कई कंपनियां दांव लगा रही हैं। टाटा समूह की पूर्ण स्वामित्व वाली इकाई एग्रटास एनर्जी स्टोरेज सॉल्यूशंस गुजरात के साणंद में 13,000 करोड़ रुपये के निवेश से सालाना 20 जीडब्ल्यूएच उत्पादन क्षमता वाला लीथियम आयन बैटरी कारखाना लगा रही है। जेएसडब्ल्यू समूह ने ओडिशा सरकार के साथ एकीकृत ईवी और 50 जीडब्ल्यूएच क्षमता वाली बैटरी कइाई लगाने के लिए करार किया है। इस पर करीब 40,000 करोड़ रुपये का निवेश किया जाएगा।