अंतरराष्ट्रीय बाजार में तंबाकू की किल्लत के चलते भारत के तंबाकू की मांग में इजाफा हुआ है।
तंबाकू बोर्ड के मुताबिक, पिछले साल अप्रैल से जुलाई के बीच महज 60,278 टन तंबाकू का निर्यात किया गया था जबकि चालू वित्त वर्ष की समान अवधि में यह 33.66 फीसदी बढ़कर 80,571 टन तक पहुंच गया है।
तंबाकू बोर्ड के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि चीन, ब्राजील और जिम्बाव्वे जैसे प्रमुख उत्पादक देशों के उत्पादन में कमी से भारत के तंबाकू की मांग बढ़ी है। इस अधिकारी ने बताया कि तंबाकू की वैश्विक मांग बढ़ने से यहां पैदा होने वाले तंबाकू की कीमतें अब प्रतिस्पर्धी हो गई हैं।
मालूम हो कि भारत तंबाकू की पत्तियों सहित सिगरेट, सिगार, बीड़ी और हुक्का का निर्यात करता है। बड़ी दिलचस्प बात है कि इस साल अप्रैल से जुलाई के दौरान तंबाकू की पत्तियों की वैश्विक बिक्री पिछले साल की तुलना में 35 फीसदी बढ़ी है। आंकडों के मुताबिक, पिछले सीजन में इस दौरान जहां 52,046 टन तंबाकू पत्तियों की बिक्री हुई थी, वहीं इस बार यह बिक्री बढ़कर 70,118 टन हो गई है।
देश से तंबाकू उत्पादों का निर्यात भी इस दौरान 27 फीसदी बढ़ा है। पिछले साल 8,232 टन तंबाकू उत्पाद का निर्यात हुआ था जबकि इस साल अब तक 10,453 टन तंबाकू उत्पाद का निर्यात हो चुका है।
रुपये में देखें तो निर्यात में तकरीबन 65.31 फीसदी की बढ़त देखी गई है और यह बढ़कर 982.87 करोड़ रुपये हो चुका है। गौरतलब है कि भारत में सालाना कुल 70 करोड़ किलोग्राम तंबाकू का उत्पादन होता है। यहां से बेल्जियम, रूस, फिलीपिंस और जर्मनी को तंबाकू का निर्यात किया जाता है।