facebookmetapixel
सरकार ने नोटिफाई किए डिजिटल निजी डेटा संरक्षण नियम, कंपनियों को मिली 18 महीने की डेडलाइनबिहार विधानसभा चुनाव 2025: NDA 200 के पार, महागठबंधन की करारी हारबिहार की करारी हार से राजद-कांग्रेस के समक्ष अस्तित्व का संकट, मोदी बोले- पार्टी अब टूट की ओरबिहार में NDA की प्रचंड जीत से बैकफुट पर विपक्ष, चुनाव आयोग पर उठाए सवालNDA की जीत में पासवान, मांझी गठबंधन ने बढ़ाई वोट हिस्सेदारी: 10 बिंदुओं में बिहार चुनाव नतीजों के निष्कर्षबिहार में बंपर जीत के बाद बोले PM मोदी: पश्चिम बंगाल से भी ‘जंगलराज’ को उखाड़ फेंकेंगेबिहार में नीतीश–मोदी फैक्टर की धमक: भाजपा की राजनीतिक महत्त्वाकांक्षा की राह में अब नहीं कोई बाधाबिहार चुनाव 2025: जदयू और भाजपा ने बढ़ाई वोट हिस्सेदारी, AIMIM को झटकाNDA के वादे और वित्तीय सीमाएं: ‘विकसित बिहार’ का सपना कितना संभव?सेबी 17 दिसंबर की बैठक में करेगा हितों के टकराव और खुलासा नियमों की सिफारिशों पर विचार

चौतरफा मंदी ने बिगाड़े घरेलू उपकरणों के समीकरण

Last Updated- December 08, 2022 | 11:01 AM IST

घरेलू उपकरण का कारोबार भी इन दिनों मंदी का रोना रो रहा है। हीटर से लेकर गीजर तक बनाने छोटे उत्पादकों ने तो अपने उत्पादन में 40 फीसदी तक की कटौती कर दी है।


वे फिलहाल पिछले साल के बचे-खुले माल को निकालने में लगे हैं। दूसरी तरफ घरेलू उपकरण के विक्रेताओं के कारोबार में दीपावली से लेकर अब तक 30 फीसदी की कमी दर्ज की जा चुकी है। इन विक्रेताओं को आने वाले समय में और गिरावट की आशंका है।

घरेलू उपकरण के लघु निर्माताओं का यह भी कहना है कि सरकार द्वारा उत्पाद कर में 4 फीसदी की कमी से उन्हें कोई लाभ नहीं मिलेगा। क्योंकि वे पहले से ही उत्पाद कर के दायरे से बाहर है।

कारोबारियों के मुताबिक घरेलू उपकरण के तहत आने वाले व्हाइट गुड्स की मांग मंदी के कारण खास तौर से प्रभावित हुई है। पिछले तीन महीनों से इन वस्तुओं की मांग में लगातार गिरावट हो रही है।

फेडरेशन ऑफ सदर बाजार ट्रेडर्स के सलाहकार एवं घरेलू उपकरण के निर्माता अजय बजाज कहते हैं, ‘दीपावली के दौरान घरेलू उपकरणों की सबसे अधिक बिक्री होती है, लेकिन इस साल दीपावली के मौके पर होने वाली बिक्री में पिछले साल के मुकाबले करीब 25 फीसदी की गिरावट रही। उसके बाद से यह बाजार उठ नहीं पाया।’

उनके मुताबिक फिलहाल यह गिरावट 30 फीसदी के स्तर पर है। कारोबारियों के अनुमान के मुताबिक घरेलू उपकरण का दीपावली के दौरान दिल्ली में एक सप्ताह में लगभग 100 करोड़ रुपये का कारोबार होता है। स्थानीय निर्माताओं के मुताबिक मंदी ने उनके निर्यात व्यापार को भी चौपट कर दिया है।

ये निर्माता मुख्य रूप से अफ्रीकी एवं पूर्वी देशों में घरेलू उपकरण का निर्यात करते हैं। पिछले दो महीनों से इन्हें निर्यात का कोई भी नया ऑर्डर नहीं मिला है।

कारोबारियों ने बताया कि घरेलू उपकरण के आयात में 30-40 फीसदी की कमी आ चुकी है। आयात करने वाले देशों में चीन सबसे अव्वल है।

घरेलू उपकरण के निर्माता व कारोबारियों की यह भी शिकायत है कि अंतरराष्ट्रीय बाजार में तांबा, स्टील व प्लास्टिक जैसी चीजों के भाव में 40 फीसदी तक की गिरावट का उन्हें कोई लाभ नहीं मिल रहा है।

First Published - December 24, 2008 | 8:50 PM IST

संबंधित पोस्ट