अनिल अंबानी समूह की कंपनी रिलायंस एनर्जी (आरईएल) ने सोमवार को कहा कि वह 2000 करोड़ रुपये के शेयरों की पुनर्खरीद सहित विभिन्न प्रस्तावों के लिए शेयरधारकों की मंजूरी की अपेक्षा करेगी।
शेयरधारक डाकमत के माध्यम से कंपनी का नाम बदलकर रिलायंस इंफ्रास्ट्रक्चर लिमिटेड करने तथा 2000 करोड़ रुपये के शेयरों की पुनर्खरीद करने के बारे में अपनी राय देंगे। इसके अलावा, शेयरधारक रिलायंस पावर की ओर से प्रस्तावित बोनस शेयर की अर्हता तथा कंपनी को एएए प्रोजेक्ट वेंचर प्रा. लि. की तरफ से 6.15 करोड़ शेयरों की गिफ्ट पर दावा नहीं करने के कंपनी के फैसले पर भी विचार करेंगे।
रिलायंस एनर्जी ने बंबई स्टाक एक्सचेंज को बताया कि कंपनी के निदेशक मंडल ने डाक के जरिए भेजे जाने वाले मतों के जांचकर्ता के रूप में अनिल लोहिया को नियुक्त किया है। कंपनी ने बताया कि जांच खत्म करने के बाद लोहिया अपनी रिपोर्ट अध्यक्ष को सौंपेंगे तथा डाकमत के परिणाम 17 अप्रैल को या उसके बाद घोषित किए जाएंगे।
इसके अलावा, शेयरधारक 18 जनवरी से पांच वर्ष की अवधि के लिए कंपनी के पूर्णकालिक निदेशक एस सी गुप्ता की नियुक्ति के बारे में विचार करेंगे। इससे पूर्व 10 मार्च को कंपनी के निदेशक मंडल ने कंपनी का नाम बदलकर रिलायंस इंफ्रास्ट्रक्चर करने के प्रस्ताव को मंजूरी दे दी थी, ताकि कंपनी के व्यवसाय की मौजूदा प्रकृति को परिलक्षित किया जा सके।
उल्लेखनीय है कि 5 मार्च, 2008 को आरईएल के बोर्ड ने दो चरणों में 2000 करोड़ रुपए के इक्विटी शेयरों की पुनर्खरीद करने के प्रस्ताव को मंजूरी दे दी थी।