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SEBI की फ्रंट रनिंग जांच के बीच Quant MF के CFO हर्षल पटेल ने क्यों दिया इस्तीफा, कंपनी ने दिया बयान

Quant MF के नए CFO बने शशि कटारिया के पास अकाउंटिंग, ऑडिट, डायरेक्ट और इनडायरेक्ट टैक्सेशन, फाइनेंस और MIS, पेरोल और लेबर लॉ कंप्लॉयंस में 20 साल का कुल अनुभव है।

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रत्न शंकर मिश्र   
Last Updated- July 12, 2024 | 2:40 PM IST

Quant MF CFO: मार्केट रेगुलेटर भारतीय प्रतिभूति और विनिमय बोर्ड (SEBI) की तरफ से इन्वेस्टमेंट फर्म क्वांट म्यूचुअल फंड (Quant Mutual Fund ) के खिलाफ जांच शुरू हुए महज कुछ ही दिन बीते थे कि आज इसके चीफ फाइनेंशियल ऑफिसर (CFO) हर्षल पटेल के इस्तीफे की खबर आ गई।

क्वांट म्यूचुअल फंड ने CFO के इस्तीफे के साथ यह भी जानकारी दी कि अब शशि कटारिया को हर्षल पटेल की जगह पर 01 जुलाई, 2024 से क्वांट मनी मैनेजर्स लिमिटेड के CFO (ऑपरेशन हेड और एग्जिक्यूटिव डायरेक्टर) के रूप में नियुक्त किया गया है।

Quant MF ने CFO के इस्तीफे को लेकर जारी किया बयान

कंपनी ने बयान जारी कर इस बात का खंडन किया कि सेबी की जांच की वजह स हर्षल पटेल ने इस्तीफा दिया है। Quant MF ने कहा कि हर्षल ने व्यक्तिगत कारणों से 19 फरवरी, 2024 को ही इस्तीफा दे दिया था और उनकी सर्विस की अंतिम तारीख 19 मई 2024 थी। बाद में 10 जून को शशि कटारिया ने कंपनी जॉइंन की और बोर्ड के फैसले के बाद 1 जुलाई 2024 से उन्हें हर्षल का पद दिया गया।


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कौन हैं Quant MF के नए CFO शशि कटारिया

Quant MF के नए CFO बने शशि कटारिया के पास अकाउंटिंग, ऑडिट, डायरेक्ट और इनडायरेक्ट टैक्सेशन, फाइनेंस और MIS, पेरोल और लेबर लॉ कंप्लॉयंस में 20 साल का कुल अनुभव है। उन्होंने अपने इस 20 साल के करियर में 13 साल भारतीय म्यूचुअल फंड इंडस्ट्री में बिताए हैं।

Quant MF जॉइन करने से पहले शशि कटारिया पहले PPFAS AMC में डायरेक्टर, COO और CFO के रूप में कार्यरत थे। मैनेजर फाइनेंस के रूप में, वह DSP ब्लैकरॉक इन्वेस्टमेंट मैनेजर्स (DSP Blackrock Investment Managers) के साथ भी काम कर चुके हैं।

क्या है सेबी की जांच का मामला

मार्केट रेगुलेटर SEBI ने 23 जून को संदीप टंडन की कंपनी क्वांट म्यूचुअल फंड (Quant Mutual Fund) के कार्यालयों की तलाशी ली थी। रेगुलेटर को कंपनी में निवेश-संबंधी गतिविधियों में कथित रूप से अनियमितताएं (irregularities) मिलीं थी, जिसके बाद उसने जांच करना शुरू किया था। ये अनियमितताएं चिंताएं फ्रंट-रनिंग जैसी गतिविधियों से संबंधित मानी जा रही थी।

हालांकि, बाद में Quant MF के CEO संदीप टंडन ने कहा कि निवेशकों को चिंतित होने की जरूरत नहीं है क्योंकि फंड मैनेजर बिना किसी प्रभाव के बना रहेगा और योजनाएं नकदी के मामले में बेहतर बनी हुई है। उन्होंने कहा था, हमारे पोर्टफोलियो का 53 फीसदी हिस्सा लिक्विड है। हमने जाने-अनजाने प्रबंधन में अपनी क्षमता का प्रदर्शन किया है। हमारा फंड हाउस रिस्क मैनेजमेंट वाला है।

First Published : July 12, 2024 | 2:40 PM IST