अंतरराष्ट्रीय

यूनिवर्सिटी ऑफ लैंकेस्टर और सरे भारत में खोलेंगे अपना कैंपस, गुजरात और बेंगलुरु को चुना

इस समय भारत में यूनिवर्सिटी में लगभग 4 करोड़ छात्र पढ़ रहे हैं, लेकिन वर्ष 2035 तक 7 करोड़ सीटों की आवश्यकता होगी

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अंशु   
Last Updated- October 09, 2025 | 4:03 PM IST

UK-India Educational Ties: भारत और ब्रिटेन के बीच शिक्षा के क्षेत्र में सहयोग को नया आयाम देने की दिशा में अहम कदम उठाते हुए, यूनिवर्सिटी ऑफ लैंकेस्टर (University of Lancaster) और यूनिवर्सिटी ऑफ सरे (University of Surrey) को भारत में नए कैंपस खोलने की मंजूरी मिल गई है। भारत में अपना नया कैंपस खोलने के लिए इन यूनिवर्सिटीज ने गुजरात और बेंगलुरु को चुना है।

इस घोषणा की जानकारी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और ब्रिटेन के प्रधानमंत्री किअर स्टार्मर ने मुंबई में ब्रिटिश वाइस चांसलरों के साथ हुई बैठक के दौरान दी। बता दें कि ब्रिटेन के प्रधानमंत्री इस समय दो दिवसीय व्यापारिक दौरे पर भारत में हैं, जिसका उद्देश्य दुनिया की सबसे तेजी से बढ़ती अर्थव्यवस्थाओं में से एक के साथ साझेदारी को और मजबूत करना है।

50 मिलियन पाउंड का फायदा होने की उम्मीद

इस समय भारत में यूनिवर्सिटी में लगभग 4 करोड़ छात्र पढ़ रहे हैं, लेकिन वर्ष 2035 तक 7 करोड़ सीटों की आवश्यकता होगी। ब्रिटेन का शिक्षा क्षेत्र इस बढ़ती मांग का लाभ उठा रहा है, जिससे हजारों भारतीय छात्रों को अपने देश में रहते हुए यूके की डिग्री हासिल करने का अवसर मिलेगा — साथ ही इससे ब्रिटेन की अर्थव्यवस्था को 50 मिलियन पाउंड का लाभ हो सकता है।

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ब्रिटेन भारत में सबसे बड़ा उच्च शिक्षा नेटवर्क रखने वाला देश

अंतरराष्ट्रीय शिक्षा क्षेत्र से वर्ष 2022 में ब्रिटेन को 32 अरब पाउंड से ज्यादा का एक्सपोर्ट रेवेन्यू प्राप्त हुआ था, जिसमें लगभग 1 अरब पाउंड विदेशी कैंपसों से आए थे — जो इस क्षेत्र की तेजी से बढ़ती ताकत को दर्शाता है।

आज घोषित किए गए नए कैंपसों के साथ, ब्रिटेन भारत में सबसे बड़ा उच्च शिक्षा नेटवर्क रखने वाला देश बन जाएगा — जिससे ब्रिटेन की वैश्विक प्रतिष्ठा को भी बड़ा प्रोत्साहन मिलेगा।

First Published : October 9, 2025 | 3:48 PM IST