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सरकारी बैंक कम करेंगे दरें !

Last Updated- December 09, 2022 | 11:26 PM IST

सरकार और सरकारी क्षेत्र के बैंकों प्रमुखों के बीच सोमवार को होनेवाली बैठक में ब्याज दरों की संभावित समीक्षा को लेकर ब्याज दरों में कटौती को लेकर एक बार फि र से अटकलें तेज हो गई है।


सोमवार को होनेवाली प्रस्तावित बैठक में सरकार बैंकों की बेंचमार्क प्रधान उधारी दर ( बीपीएलआर ) और साथ ही आवासीय और वाहन क्षेत्र को दिए जा रहे कर्ज की दर की समीक्षा करेगी।

इसके अलावा छोटे और मझोले उद्योग और गैर-बैंकिंग वित्तीय कंपनियों (एनबीएफसी) को दिए गए ऋणों के बाद की स्थिति की भी समीक्षा करेगी।

दूसरी तरफ बैंकों ने सरकार को सूचित किया है कि उनकेलिए उधारी दरों में तत्काल कमी करना आसान नहीं होगा लेकिन साथ ही बैंकों ने यह भी कहा कि है विशिष्ट क्षेत्रों में मांग में तेजी लाने के लिए कुछ चुनिंदा क्षेत्रों को दिए जानेवाले ऋणों कीब्याज दरों में कटौती करने का विकल्प खुला।

सूत्रों के अनुसार बैंकों ने मार्च में दरों में कटौती करने का इशारा पहले ही दे दिया है, लेकिन सरकार अर्थव्यवस्था की मौजूदा हालत को देखते हुए अगले महीने ही दरों में कटौती देखना चाहती है।

सरकार की दरों में कटौती पर विशेष जोर दिए जाने के बारे में सरकारी बैंक केएक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा किहम कुछ निश्चित और जरूरतमंद क्षेत्रों को विशेष तौर पर ऋ ण मुहैया कराने की संभावना पर विचार कर सकते है।

अधिकारी ने कहा कि इसमें सभी सरकारी बैंक अपनी भागीदारी दिखा सकते हैं। पिछले साल नवंबर से अब तक बैंकों ने अपनी ब्याज दरों में 150 आधार अंकों तक की कटौती की है जबकि निजी क्षेत्र के बैंक ने अपनी दरों में 50 आधार अंकों तक की ही कम की है।

आगामी सोमवार को वित्त मंत्री प्रणब मुखर्जी की सरकारी बैकों के प्रमुख साथ बैठक  प्रस्तावित है जिसमें ब्याज दरों में कटौती का मुद्दा प्रमुखता से छाया रहेगा। वित्त मंत्रालय के अधिकारियों की बैंकरों के साथ विभिन्न क्षेत्रों को ऋण मुहैया कराने को लेकर पहले ही बातचीत हो चुकी है।

मुखर्जी हाल में ही सरकार द्वारा घोषित किए गए राहत पैकेज के असर तथा राष्ट्रीय आवास बैंक और सिडबी को दी गई वित्तीय सहायता के बाद की स्थिति की भी समीक्षा करेंगे।

First Published - January 29, 2009 | 9:03 PM IST

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