प्रतीकात्मक तस्वीर | फाइल फोटो
Q1 Results: दैनिक उपभोक्ता वस्तु (एफएमसीजी) क्षेत्र की दिग्गज कंपनी टाटा कंज्यूमर प्रोडक्ट्स ने चालू वित्त वर्ष (वित्त वर्ष 26) की पहली तिमाही के दौरान शुद्ध लाभ में 15.1 प्रतिशत की उछाल दर्ज की और यह बढ़कर 334 करोड़ रुपये हो गया। भारतीय कारोबार में चाय और नमक दोनों ही कारोबारों में देखी गई दमदार वृद्धि के कारण इस तिमाही में शुद्ध बिक्री पिछले वर्ष की इसी अवधि की तुलना में 9.8 प्रतिशत बढ़कर 4,779 करोड़ रुपये हो गई। अप्रैल-जून तिमाही में कंपनी के भारतीय कारोबार – पैक्ड पेय कारोबार का राजस्व 12 प्रतिशत बढ़ा और कॉफी के राजस्व में 67 प्रतिशत की जोरदार उछाल देखी गई। भारतीय खाद्य कारोबार का राजस्व 14 प्रतिशत से अधिक बढ़ा और इसके मूल्य संवर्धित नमक पोर्टफोलियो में 31 प्रतिशत की वृद्धि हुई।
डॉ रेड्डीज लैबोरेटरीज का वित्त वर्ष 2025-26 की पहली तिमाही में एकीकृत शुद्ध लाभ एक प्रतिशत बढ़कर 1,410 करोड़ रुपये हो गया। हैदराबाद की इस दवा कंपनी का गत वित्त वर्ष 2024-25 की पहली (अप्रैल-जून) तिमाही में शुद्ध लाभ 1,392 करोड़ रुपये रहा था। कंपनी बयान के अनुसार समीक्षाधीन अवधि में उसकी आमदनी बढ़कर 8,545 करोड़ रुपये हो गई जो एक वर्ष पूर्व इसी अवधि में 7,673 करोड़ रुपये थी। डॉ रेड्डीज के को-चेयरमैन एवं प्रबंध निदेशक जीवी प्रसाद ने कहा, ‘हमने इस तिमाही में सालाना आधार पर दहाई अंक में वृद्धि दर्ज की है जो ‘ब्रांडेड’ बाजारों में हमारी मजबूती एवं ‘निकोटीन रिप्लेसमेंट थेरेपी’ खंड में सकारात्मक गति को दर्शाता है।’ उन्होंने कहा कि अमेरिकी जेनेरिक बाजार में ‘लेनालिडोमाइड’ पर मूल्य निर्धारण का दबाव बढ़ने की उम्मीद है।
बायोकॉन की सहायक कंपनी सिनजीन इंटरनैशनल का समेकित शुद्ध लाभ 30 जून को समाप्त वित्त वर्ष 26 की पहली तिमाही में बढ़कर 87 करोड़ रुपये हो गया जो पिछले वर्ष की तुलना में 59 प्रतिशत अधिक है। कंपनी का परिचालन राजस्व सालाना आधार पर 11 प्रतिशत तक बढ़कर 875 करोड़ रुपये हो गया। प्रदर्शन में सुधार अनुसंधान सेवा कारोबार के अंतर्गत प्रायोगिक कार्यक्रमों को लगातार दीर्घकालिक अनुबंधों में तब्दील किए जाने से संभव हुआ।
आदित्य बिड़ला समूह की कंपनी – आदित्य बिड़ला रियल एस्टेट (एबीआरई, जिसका पहले सेंचुरी टेक्सटाइल्स ऐंड इंडस्ट्रीज नाम था) को वित्त वर्ष 26 की पहली तिमाही में 25.47 करोड़ रुपये का घाटा हुआ, जबकि वित्त वर्ष 25 की पहली तिमाही में 7.78 करोड़ रुपये का लाभ हुआ था। वित्त वर्ष 26 की पहली तिमाही में एबीआरई का राजस्व (निरंतर परिचालन से) सालाना आधार पर 58.67 प्रतिशत तक घटकर 144.21 करोड़ रुपये रह गया, जो ब्लूमबर्ग के विश्लेषक सर्वेक्षण के 156.6 करोड़ रुपये के अनुमान से कम है। इसका कुल खर्च 208.04 करोड़ रुपये रहा, जो पिछले साल की तुलना में लगभग 38 प्रतिशत कम है। कंपनी ने इस तिमाही के दौरान कोई नई परियोजना शुरू नहीं की। यह अपने लुगदी और कागज कारोबार – सेंचुरी पल्प ऐंड पेपर (सीपीपी) की विनिवेश प्रक्रिया से भी गुजर रही है। एबीआरई ने मार्च में आईटीसी को 3,498 करोड़ रुपये में स्लंप सेल के जरिये विनिवेश के लिए कारोबार हस्तांतरण समझौते के निष्पादन को मंजूरी दी थी।
रेस्तरां श्रृंखला मैकडोनाल्ड्स का पश्चिम एवं दक्षिण भारत में संचालन करने वाली वेस्टलाइफ फूडवर्ल्ड का एकीकृत शुद्ध लाभ चालू वित्त वर्ष की अप्रैल-जून तिमाही में 63 प्रतिशत गिरकर 1.22 करोड़ रुपये रहा है। पिछले वित्त वर्ष की समान तिमाही में कंपनी का एकीकृत शुद्ध लाभ 3.25 करोड़ रुपये रहा था। वेस्टलाइफ फूडवर्ल्ड ने बुधवार को शेयर बाजार को दी सूचना में बताया कि समीक्षाधीन तिमाही में उसकी बिक्री हालांकि 6.45 प्रतिशत बढ़कर 653.25 करोड़ रुपये रही है, जो पिछले वित्त वर्ष की समान तिमाही में 613.64 करोड़ रुपये थी। जून तिमाही में वेस्टलाइफ फूडवर्ल्ड का कुल खर्च 7.43 प्रतिशत बढ़कर 662.78 करोड़ रुपये रहा है। कंपनी की कुल आमदनी (अन्य आय मिलाकर) जून तिमाही में सात प्रतिशत बढ़कर 664.44 करोड़ रुपये रही है। वेस्टलाइफ फूडवर्ल्ड ने आलोच्य तिमाही में नौ रेस्तरां जोड़े।
केएफसी और पिज्जा हट श्रृंखला शृंखला का परिचालन करने वाली कंपनी सफायर फूड्स इंडिया को चालू वित्त वर्ष की जून तिमाही में 1.73 करोड़ रुपये का एकीकृत घाटा उठाना पड़ा है। कंपनी ने पिछले साल की समान अवधि में 8.18 करोड़ रुपये का एकीकृत शुद्ध लाभ कमाया था। सफायर फूड्स इंडिया ने बुधवार को शेयर बाजार को भेजी सूचना में कहा कि जून तिमाही में उसका परिचालन राजस्व 8.14 प्रतिशत बढ़कर 776.82 करोड़ रुपये हो गया, जो पिछले साल की समान अवधि में 718.28 करोड़ रुपये था। यह कंपनी भारत के अलावा श्रीलंका के बाजार में भी त्वरित सेवा रेस्तरां शृंखला का परिचालन करती है।