लागत में इजाफा होने के बावजूद जिंदल स्टील्स लिमिटेड इस्पात की कीमत नहीं बढ़ा रही है।
इस्पात बनाने के मामले में देश की चौथे नंबर की इस कंपनी का मुनाफा पहले से काफी कम हो गया है, लेकिन कीमत बढ़ाने की उसकी कोई मंशा नहीं है।दरअसल महंगाई की ऊंची छलांग की वजह से सरकार ने स्टील के दाम बढ़ाने से इनकार कर दिया है। लेकिन लागत लगातार बढ़ती जा रही है, जिसकी वजह से कंपननी का मुनाफा कम हो गया है।
जेएसडब्ल्यू के उपाध्यक्ष सान जिंदल ने बताया कि स्टील निर्माण में लागत ज्यादा लगने और कीमतों में वृद्धि नहीं होने के कारण ऐसा हो रहा है। उनके मुताबिक अगले तीन चार महीनों तक ऐसे ही हालात बने रहने की संभावना है।
लेकिन उन्होंने बताया कि मुनाफे पर चोट के बावजूद अभी कंपनी की स्टील की कीमतें बढ़ाने की कोई योजना नहीं है। उन्होंने कहा कि कंपनी के हाथ में बहुत कुछ नहीं है और स्टील की कीमत बाजार ही तय करेगा।
जिंदल ने कहा कि घरेलू बाजार में स्टील की कीमतों पर नियंत्रण सरकार के हाथों में है। लेकिन ऐसा लंबे समय तक नहीं चल सकता। यदि सरकार का यह रुख जारी रहा, तो कंपनियों को उत्पादन घटाना पड़ सकता है। यह भी मुमकिन है कि कुछ कंपनियां इस्पात का उत्पादन बिल्कुल ही बंद कर दें।
सरकार और रिजर्व बैंक ने देश में बढ़ती महंगाई दर को रोकने के लिए योजना बनाई है। इस योजना के तहत सरकार ने निर्यात पर रोक लगा दी है। जिंदल के मुताबिक इस्पात के निर्यात पर रोक लगने से विदेशी निवेशकों का इस उद्योग के प्रति रुझान कम होगा।
पिछले हफ्ते वित्त मंत्री पी चिदंबरम ने जिंसों का मूल्य खुद तय करने पर कंपनियों के खिलाफ कार्यवाही की बात कही थी। लेकिन जिंदल कंपनियों द्वारा मूल्य निर्धारण की बात से साफ इनकार करते हैं।