पेमेंट्स व फिनटेक फर्म भारतपे (BharatPe) ने आज ऐलान किया कि उसके मुख्य कार्याधिकारी (सीईओ) सुहैल समीर ने इस्तीफा दे दिया है और अब वे रणनीतिक सलाहकार की भूमिका में आ जाएंगे। यह 7 जनवरी से प्रभावी होगा। कंपनी ने मुख्य वित्त अधिकारी नलिन नेगी को अंतरिम सीईओ नियुक्त कर दिया है। इस बीच, निदेशक मंडल ने अग्रणी कार्यकारी शोध फर्म को उत्तराधिकार योजना व सीईओ की तलाश के लिए बनाए रखा है।
भारतपे बोर्ड के चेयरमैन रजनीश कुमार ने कहा, सुहैल के शानदार योगदान के लिए हम बोर्ड की तरफ से उन्हें धन्यवाद देते हैं, जिन्होंने भारतपे को देश की अग्रणी फिनटेक बना दिया और हमें इस यात्रा के दौरान विभिन्न चुनौतियों से निपटने में मदद करते रहे। इस बीच, समीर ने शायद अपना वेंचर कैपिटल फंड गठित कर लिया है। समीर ने कहा, मैं रणनीतिक सलाहकार के तौर पर भारतपे को समर्थन देने के लिए प्रतिबद्ध हूं और पूर्णकालिक निवेशक के तौर पर मैं अपनी खुद की यात्रा के अगले चरण की ओर बढ़ रहा हूं।
नलिन नेगी भारतपे से अगस्त में मुख्य वित्त अधिकारी के तौर पर जुड़े। नलिन के पास 28 वर्षों का कारोबारी अनुभव है और पिछले 15 साल उन्होंने बैंकिंग व वित्तीय सेवा में बिताए हैं और जीई कैपिटल व एसबीआई कार्ड्स आदि में काम किया है। नलिन 10 साल तक एसबीआई कार्ड्स के सीएफओ रहे। समीर के सीईओ पद से इस्तीफे से पहले भी कई आला अधिकारी कंपनी छोड़ चुके हैं। साथ ही हाल में भारतपे ने अशनीर ग्रोवर व उनकी पत्नी के खिलाफ दीवानी मुकदमा भी किया है, जिसमें फंडों की हेराफेरी का आरोप है।
यह भी पढ़ें: PSU Survey 2021-22: ONGC, Indian Oil ने सबसे ज्यादा मुनाफा कमाया
अशनीर ग्रोवर का मामला सामने आने के बाद से कंपनी कुछ अन्य मसलों से भी जूझती रही है। पिछले कुछ महीनों में भारतपे के वरिष्ठ अधिकारी मसलन विजय अग्रवाल (सीटीओ), नेहुल मल्होत्रा (पोस्टपे प्रमुख), रजत जैन (चीफ प्रॉडक्ट अफसर) और गीतांशु सिंगला (उपाध्यक्ष-टेक्नोलॉजी) पद छोड़ चुके हैं। इनके अलावा मुख्य राजस्व अधिकारी निशीथ शर्मा ने जून में कंपनी के सह-संस्थापक भाविक कलोडिया संग पद छोड़ दिया था।