इंडियन ऑयल कॉर्पोरेशन (आईओसी) के बोर्ड ने आईओसी की सहायक इकाई चेन्नई पेट्रोलियम कॉर्पोरेशन लिमिटेड (सीपीसीएल) को तमिलनाडु में 29,300 करोड़ रुपये से ज्यादा लागत की एक रिफाइनरी परियोजना स्थापित करने को मंजूरी दे दी है। एक नया संयुक्त उपक्रम बनाया जाएगा, जिसमें आईओसी और सीपीसीएल में प्रत्येक की 25 प्रतिशत हिस्सेदारी होगी, जबकि शेष हिस्सेदारी वित्तीय/रणनीतिक व अन्य निवेशकों की होगी। तमिलनाडु के नागपट्टनम में 9 एमएमटीपीए क्षमता की रिफाइनरी परियोजना स्थापित की जाएगी और इसकी कुल नागत 29,361 करोड़ रुपये होगी। इसमें अत्याधुनिक पॉलीप्रोपलीन इकाई सहित रिफाइनरी व पेट्रोकेमिकल परिसर शामिल होगा। प्रक्रिया पैकेज को अंतिम रूप दे दिया गया है और परियोजना के लिए विस्तृत व्यावहारिकता रिपोर्ट (डीएफआर) का काम पूरा कर लिया गया है।
दरों में घोषणा में देरी से निर्यात प्रभावित होगा : फियो
निर्यातकों के प्रमुख संगठन फेडरेशन ऑफ इंडियन एक्सपोर्ट ऑर्गेनाइजेशन (फियो) ने सरकार से कर रिफंड योजना निर्यातित उत्पादों पर शुल्क एवं करों की छूट (आरओडीटीईपी) के तहत विभिन्न क्षेत्रों के लिए दरों की घोषणा किए जाने की मांग की है।
फियो ने कहा कि इसमें और देरी से भविष्य के निर्यात पर गंभीर प्रभाव पड़ेगा। सरकार ने पिछले महीने घोषणा की थी कि एक जनवरी, 2021 से सभी वस्तुओं पर आरओडीटीईपी योजना का लाभ दिया जाएगा। इन दरों को पूर्व वाणिज्य और गृह सचिव जी के पिल्लै की अध्यक्षता वाली समिति की सिफारिशों के आधार पर वाणिज्य विभाग को अधिसूचित करना था।
फियो के अध्यक्ष शरद कुमार सराफ ने शुक्रवार को एक बयान में कहा, ‘आरओडीटीईपी जैसी पहल का मकसद उद्योग को निरंतर समर्थन देना है। इसके लिए दरों की घोषणा जल्द करने की जरूरत है। ऐसा नहीं होने पर निर्यातक नए अनुबंधों को अंतिम रूप देने से पहले अपनी निर्यात की लागत तय नहीं कर पाएंगे।’ भाषा