एचडीएफसी ऐसेट मैनेजमेंट कंपनी (एएमसी) ने नवनीत मुनोत को कंपनी का नया प्रबंध निदेशक (एमडी) एवं मुख्य कार्याधिकारी (सीईओ) नियुक्त किया है। मुनोत मौजूदा समय में एसबीआई म्युचुअल फंड में मुख्य निवेश अधिकारी (सीआईओ) और कार्यकारी निदेशक हैं और अब वे एमडी मिलिंद बर्वे की जगह लेंगे।
एचडीएफसी एएमसी ने स्टॉक एक्सचेंज को दी जानकारी में कहा है, ‘निदेशक मंडल यह बताने के लिए उत्साहित है कि उसने 16 नवंबर 2020 को हुई अपनी बैठक में नवनीत मुनोत को कंपनी का एमडी और सीईओ नियुक्त करने के निर्णय को मंजूरी दे दी है और वह मौजूदा एमडी मिलिंद बर्वे की जगह लेंगे।’
मुनोत ने 12 वर्षों तक एसबीआई म्युचुअल फंड के सीआईओ की जिम्मेदारी निभाई है और इससे पहले वह आदित्य बिड़ला समूह में भी विभिन्न जिम्मेदारियां निभा चुके हैं।
दिसंबर 2008 में एसबीआई एमएफ के सीआईओ बनने के बाद मुनोत को एसबीआई एमएफ की फंड प्रबंधन प्रक्रिया को मजबूत बनाने का श्रेय दिया गया। उससे पहले इस फंड हाउस को वैश्विक वित्तीय संकट के दबाव से जूझना पड़ा था। एक प्रमुख फंड हाउस के मुख्य अधिकारी ने कहा, ‘वह बाजार की गहन जानकारी रखते हैं। उन्होंने एसबीआई एमएफ में एक मजबूत फंड प्रबंधन इन्फ्रास्ट्रक्चर की पेशकश की।’
उद्योग के जानकारों का कहना है कि मुनोत इस उद्योग में परिवेश, सामाजिक और कॉरपोरेट प्रशासन (ईएसजी) और सक्रिय थीमों को अपनाने वाले पहले दिग्गजों में शुमार रहे हैं। एसबीआई एमएफ इस साल सबसे बड़ा फंड हाउस बन गया और अब वह 4.5 लाख करोड़ रुपये से ज्यादा की परिसंपत्तियों का प्रबंधन करता है। एचडीएफसी एमएफ 30 सितंबर 2020 तक 3.76 लाख करोड़ रुपये की प्रबंधन अधीन परिसंपत्तियों के साथ देश का दूसरा सबसे बड़ा फंड हाउस है। एचडीएफसी एएमसी ने 1,262 करोड़ रुपये का शुद्घ लाभ दर्ज किया है जबकि पूर्ववर्ती वित्त वर्ष में उसने 931 करोड़ रुपये का मुनाफा दर्ज किया था।
एसबीआई फंड्स मैनेजमेंट के एमडी एवं सीईओ विनय टोन्से ने कहा, ‘नवनीत कुशल और अनुभवी वरिष्ठ फंड प्रबंधकों की टीम का हिस्सा रहे हैं और उन्होंने कई उपलब्धियां हासिल की हैं। हम संगठन में उनके योगदान की सराहना करते हैं और उनके भविष्य के प्रयासों की सफलता की कामना करते हैं। हम प्रक्रिया-केंद्रित संगठन हैं और उद्योग में बेहद सक्षम निवेश टीमों में से एक हैं। हमारी शानदार फंड प्रबंधन प्रक्रियाओं को हमारे निवेशकों और वितरकों द्वारा सराहा गया है।’
