आईटी कंपनियों के कर्मचारियों के लिए एयर कंडीशंड कैब और लक्जरी कोचों में घूमने के दिन लद गए हैं। अब इन कर्मचारियों को बसों में सफर करने की आदत डालनी होगी।
मंदी की मार कंपनियों पर इस कदर पड़ रही है कि हर छोटी बड़ी चीजों में कटौती की जा रही है। मिसाल के तौर पर इन्फोसिस टेक्नोलॉजिज, टेक महिंद्रा और टाटा कंसल्टेंसी सर्विसेज (टीसीएस) जैसी दिग्गज आईटी कंपनियां अपने कर्मचारियों के आने-जाने के लिए सार्वजनिक बसों को तरजीह दे रही है।
कैब और निजी बसों की तुलना में सार्वजनिक बस सस्ती होने की वजह से कंपनियां यह कदम उठा रही हैं। इन्फोसिस टेक्नोलॉजिज ने पुणे महानगर परिवहन महामंडल लिमिटेड (पीएमपीएमएल) को 20 अतिरिक्त बस मुहैया कराने का आग्रह कर चुकी है, ताकि कर्मचारियों को कार्यालय आने-जाने में कोई दिक्कत न हो। मालूम हो कि पीएमपीएमएल इन्फोसिस को पहले से ही 16 बसें मुहैया करा चुकी है।
इसी तर्ज पर टीसीएस ने भी 13 पीएमपीएमएल बसों के लिए आवेदन किया है। पीएमपीएमएल के प्रबंध निदेशक नितिन खाडे ने बिानेस स्टैंडर्ड को बताया, ‘आईटी कंपनियां पीएमपीएमएल बसों को तरजीह देती हैं। हम सस्ती और सुरक्षित सेवाएं मुहैया कराते हैं।
इन्फोसिस ने सीएनजी बसों की मांग की है और हम लोग इसे मुहैया कराने की पूरी कोशिश करेंगे। लेकिन हमारे पास कम कार्बन उत्सर्जन बसें भी हैं, जो जल्द ही इन्फोसिस को मुहैया करा दी जाएगी।’
इन्फोसिस और टीसीएस के वरिष्ठ अधिकारियों ने भी इस बात की पुष्टि की है, लेकिन किसी तरह की जानकारी देने से इनकार कर दिया। इसके अलावा विप्रो टेक्नोलॉजिज और टेक महिंद्रा ने भी पीएमपीएमएल से बस के लिए आग्रह किए हैं।
