सेल्सफोर्स इंडिया की चेयरपर्सन और मुख्य कार्य अधिकारी अरुंधती भट्टाचार्य | फाइल फोटो
देश में उद्यम जहां तेजी से बदलती एआई तकनीक के हिसाब से काम कर रहे हैं, वहीं सेल्सफोर्स इंडिया की चेयरपर्सन और मुख्य कार्य अधिकारी अरुंधती भट्टाचार्य का मानना है कि एजेंटिक एआई भारत के लिए बहुत अहम होगी और इसे दृढ़ता के साथ अपनाने की जरूरत है।
भट्टाचार्य ने बताया कि एजेंटिक एआई भारत के लिए अत्यंत महत्त्वपूर्ण होगी, शायद कई अन्य बाजारों से भी ज्यादा। उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि भारत बहुत बड़ी आबादी वाला देश है और अगर हम देश के जनसांख्यिकी फायदे की पूरी क्षमता का इस्तेमाल करना चाहते हैं, तो ऐसी तकनीक का फायदा उठाना होगा जो व्यापक स्तर पर प्रभावकारी तरीके से असर डालने में देश की मदद करें। एजेंटिक एआई ऐसी ही तकनीक है।
उन्होंने बिज़नेस स्टैंडर्ड के साथ वर्चुअल बातचीत में कहा, ‘एजेंटिक एआई हमें इंसानी क्षमता बढ़ाकर और व्यापक स्तर पर रुचिपूर्ण, अधिक गुणवत्ता वाली सेवाएं देकर उस अंतर को पाटने में मदद करती है। इसीलिए मेरा मानना है कि एजेंटिक एआई भारत की वृद्धि के लिए अहम है। अगर हम इसे दृढ़तापूर्वक नहीं अपनाते हैं, तो हम मध्य आय वाले ब्रैकेट में फंसने का जोखिम उठा रहे हैं क्योंकि हमारा श्रमबल बदलाव की रफ्तार या आगे आने वाली चुनौतियों की मुश्किलों को संभालने के लिए तैयार नहीं होगा। इसलिए एजेंटिक एआई का इस्तेमाल करना वैकल्पिक नहीं है, बल्कि यह उत्पादकता, दक्षता और समूची आर्थिक प्रतिस्पर्धी क्षमता को बेहतर बनाने के लिए जरूरी है।’
अपनी बात समझाने के लिए वहबताती हैं कि देश ने वित्तीय समावेशन के लिए किस तरह जोर दिया। उन्होंने कहा, ‘हमारे पास 1.4 अरब लोग और लगभग 6,00,000 गांव हैं। जब भारत ने वित्तीय समावेशन के लिए जोर दिया, तो यह आधार और मोबाइल कनेक्टिविटी जैसी बुनियादी तकनीकों के बिना संभव नहीं होता। आज भी यही सिद्धांत लागू होता है। चाहे यह स्वास्थ, शिक्षा, कौशल विकास की बात हो या दूसरी जरूरी सेवाओं तक पहुंच की, ऐसा कोई भौतिक मौजूदगी वाला प्रारूप नहीं है, जो इन्हें बड़े स्तर पर या हमारी आबादी के लिए जरूरी रफ्तार से उपलब्ध कर सके।’