वित्त-बीमा

बॉन्ड से 30,000 करोड़ रुपये जुटाएगी नाबार्ड

वित्त वर्ष 2024 के बैलेंसशीट के मुताबिक बकाया बॉन्ड और डिबेंचर, मार्च 2024 में 2,86,150 करोड़ रुपये था जो एक साल पहले के 2,46,677 करोड़ रुपये से अधिक था।

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अभिजित लेले   
Last Updated- June 10, 2024 | 11:40 PM IST

राष्ट्रीय कृषि एवं ग्रामीण विकास बैंक (नाबार्ड) चालू वित्त वर्ष 2025 में बॉन्ड के माध्यम से 30,000 करोड़ रुपये तक जुटाने की योजना बना रहा है ताकि ऋण देने के कार्यों में मदद की जा सके। यह जानकारी रेटिंग एजेंसी क्रिसिल ने दी है।

बाजार के माध्यम से जुटाई गई पूंजी में बॉन्ड और मुद्रा बाजार से जुड़ी योजनाएं आदि शामिल हैं और मार्च 2024 के अंत में नाबार्ड की कुल उधारी में इनकी लगभग 51.5 प्रतिशत की हिस्सेदारी थी।

क्रिसिल के आकलन के अनुसार, सरकारी स्वामित्व वाले विकास वित्तीय संस्थान (डीएफआई) की कुल उधारी मार्च 2024 तक 7,89,191 करोड़ रुपये थी। क्रिसिल ने प्रस्तावित बॉन्ड पेशकश को ‘एएए’ की रेटिंग दी है जिसे भारत सरकार का समर्थन है। नाबार्ड ने बिज़नेस स्टैंडर्ड के सवालों का जवाब नहीं दिया।

वित्त वर्ष 2024 के बैलेंसशीट के मुताबिक बकाया बॉन्ड और डिबेंचर, मार्च 2024 में 2,86,150 करोड़ रुपये था जो एक साल पहले के 2,46,677 करोड़ रुपये से अधिक था। इस प्रकार, डिबेंचर व बॉन्ड के माध्यम से शुद्ध उधारी वित्त वर्ष 2024 में 39,473 करोड़ रुपये बढ़ी।

First Published : June 10, 2024 | 11:40 PM IST