कंपनियां

भारत में ज्यादा हुए विलय सौदे

वर्ष 2022 के दौरान वैश्विक विलय-अधिग्रहण के आकर्षक केंद्र के रूप में उभरा देश

Published by
पीरज़ादा अबरार
Last Updated- January 31, 2023 | 10:24 PM IST

विलय एवं अधिग्रहण (एमऐंडए) के नियोजित सौदों की मात्रा और मूल्य वर्ष 2022 में सर्वकालिक उच्च स्तर पर पहुंचने की वजह से भारत वैश्विक रुख को चुनौती दे रहा है। नकदी के रिकॉर्ड स्तर और परिसंपत्ति की उपलब्धता ने वर्ष 2022 के दौरान सौदों की मात्रा में 36 प्रतिशत और सौदों के मूल्य में 139 प्रतिशत की तेजी लाने में मदद की है। बेन ऐंड कंपनी की वार्षिक वैश्विक विलय एवं अधिग्रहण की रिपोर्ट उन कारकों पर प्रकाश डालती है, जिन्होंने भारत में एमऐंडए के लिए संयुक्त रूप से मजबूत परिस्थिति का निर्माण किया है।

मजबूत कॉरपोरेट बैलेंस शीट और इस्तेमाल के लिए पर्याप्त निजी इक्विटी (पीई) ने एमऐंडए के लिए मजबूत वातावरण में योगदान प्रदान किया है। विदेशी प्रत्यक्ष निवेश (एफडीआई) भी स्थिर रहा है क्योंकि भारत वैश्विक आकर्षण का केंद्र और पूंजी के लिए आकर्षक गैर-अमेरिकी गंतव्य बना हुआ है। विक्रेता अधिक मल्टीपल पर प्रतिक्रिया दे रहे हैं तथा अधिक परिसंपत्तियां (तथा अधिक गुणवत्ता वाली परिसंपत्तियां) बाजार में ला रहे हैं और अधिग्रहणकर्ता उन पर आगे बढ़ने के लिए तैयार हैं।

बेन ऐंड कंपनी इंडिया के मैनेजिंग पार्टनर और रिपोर्ट के लेखक करण सिंह ने कहा कि वर्ष 2022 में एक और रिकॉर्ड वर्ष स्थापित करने की वजह से हमने बढ़ते सौदों की मात्रा और मूल्य के लगातार चार साल देखे हैं। यह दुनिया के बाकी हिस्सों के मिजाज और रफ्तार के विपरीत है।

सिंह ने कहा ‘हम वित्तीय सेवाओं, उपयोगिताओं, विनिर्माण और स्वास्थ्य सेवा सहित विभिन्न क्षेत्रों में एमऐंडए की मजबूत गतिविधि देख रहे हैं। पर्यावरण, सामाजिक और प्रशासन (ईएसजी) एक नया विषय है तथा भारत अक्षय ऊर्जा के मामले में हॉटस्पॉट के रूप में उभर रहा है। भारत की विकास गाथा में विश्वास अधिकारियों को साहसिक कदम उठाने की चाह प्रदान कर रहा है।’

स्थापित घरेलू कंपनियों ने एकीकरण के लिए एमऐंडए की ओर रुख किया है। वर्ष 2022 के दौरान आधे से अधिक सौदों में बड़े स्तर का विलय एवं अधिग्रहण का योगदान जारी रहा। भारत की अब तक की सबसे बड़ी विलय की घोषणा में एचडीएफसी ने 40 अरब डॉलर मूल्य के सौदे में एचडीएफसी बैंक के साथ विलय के लिए करार किया।

यह भी पढ़ें: रिलायंस की बिस्कुट सेक्टर में एंट्री, श्रीलंका की बिस्कुट कंपनी के साथ साझेदारी

अंबुजा सीमेंट्स और एसीसी के लिए अदाणी के 10.5 अरब डॉलर के सौदे ने इसे भारत में दूसरी सबसे बड़ा सीमेंट विनिर्माता बनाया है। टॉरंट फार्मा ने अपने पोर्टफोलियो को मजबूत करने के लिए त्वचा की देखरेख वाली कंपनी क्यूरेशियो हेल्थकेयर को खरीदा। इसके साथ ही कई कंपनियां ऑनलाइन कारोबार भी खरीद रही हैं और उपभोक्ताओं के लिए ओमनीचैनल पेशकश करने के लिए उन्हें अपनी ऑफलाइन उपस्थिति के साथ जोड़ रही हैं।

First Published : January 31, 2023 | 10:24 PM IST