रुपया लुढ़का तो बाजार ने लगाया गोता | |
बीएस संवाददाता / मुंबई 09 03, 2013 | | | | |
पिछले कुछ सत्रों में रुपये और शेयर बाजार में थोड़ा सुधार देखा गया था लेकिन वैश्विक रेटिंग एजेंसी स्टैंडर्ड ऐंड पुअर्स (एसऐंडपी) द्वारा देश की रेटिंग घटाए जाने की चेतावनी और सीरिया पर युद्घ का खतरा मंडराने से वैश्विक बाजारों के साथ घरेलू बाजार में भी तेज गिरावट दर्ज की गई।
डॉलर के मुकाबले रुपये में चालू वित्त वर्ष के दौरान तीसरी बड़ी गिरावट आई वहीं बंबई स्टॉक एक्सचेंज का सेंसेक्स चार दिन तक चढऩे के बाद 651.47 अंक लुढ़कर 18,234.66 पर बंद हुआ। रुपया डॉलर के मुकाबले 2.6 फीसदी टूट कर 67.73 पर बंद हुआ। हालांकि कारोबार के दौरान यह एक बार फिर 68 के स्तर को पार कर गया था लेकिन भारतीय रिजर्व बैंक के हस्तक्षेप से इसे थोड़ा सहारा मिला।
एसऐंडपी के विश्लेषक किम इंग तन ने कहा, 'हमने भारत का परिदृश्य नकारात्मक रखा है लेकिन अगले दो से तीन साल में इसमें गिरावट की आशंका है।Ó उन्होंने कहा कि मौजूदा हालात को देखते हुए भारत की रेटिंग कम किए जाने की आशंका इंडोनेशिया से कहीं ज्यादा है। इंडोनेशिया की मुद्रा में भी गिरावट का रुख देखा जा रहा है। सीरिया पर मिसाइल दागे जाने की आशंका के बीच घरेलू बाजार में निवेशकों की घबराहट बढ़ गई। हालांकि अमेरिका या इस्रराइल द्वारा मिसाइल दागे जाने की कोई खबर नहीं है लेकिन युद्घ की आशंका से निवेशकों ने बाजार में बिकवाली शुरू हो गई जिससे शेयर और रुपये में गिरावट दर्ज की गई। कारोबार के दौरान निफ्टी में 4 फीसदी की गिरावट आई थी लेकिन बाद में यह 209.30 अंक गिरकर 5341.45 पर बंद हुआ।
भूमध्यसागर में मिसाइल दागे जाने की खबर से विदेशी संस्थागत निवेशकों ने घरेलू बाजार में जमकर बिकवाली की क्योंकि उन्हें डर सता रहा है कि सीरिया में संकट बढऩे से कच्चे तेल के दाम बढ़ सकते हैं। मुद्रा विशेषज्ञों के मुताबिक अगर सरकार ने अर्थव्यवस्था में सुधार के कोई ठोस कदम नहीं उठाए तो रुपया और लुढ़क सकता है। टाटा म्युचुअल फंड के वरिष्ठï कोष प्र्रबंधक और इक्विटी शोध प्रमुख अमिष मुंशी ने कहा, 'एसऐंडपी द्वारा सॉवरिन रेटिंग घटाए जाने की आशंका से पिछले 6 माह से बाजार में दबाव देखा जा रहा है।Ó
चालू वित्त वर्ष में रुपये में करीब 25 फीसदी की गिरावट आ चुकी है और सभी एशियाई मुद्राओं में रुपये का प्रदर्शन सबसे खराब रहा है। लक्ष्मी विलास बैंक के कार्यकारी निदेशक और मुख्य कार्याधिकारी जे मोजेज हार्डिंग्स ने कहा, 'बढ़ते चालू खाते के घाटे और राजकोषीय घाटे में इजाफे की आशंका के बीच रेटिंग घटने का जोखिम बना हुआ है।Ó उन्होंने कहा कि आरबीआई द्वारा तरलता में सख्ती बरतने और तेल कंपनियों के लिए अलग से डॉलर विंडो खोलने का भी फायदा रुपये को नहीं मिल पा रहा है।
विदेशी संस्थागत निवेशकों ने आज 716.16 करोड़ रुपये की बिकवाली की, वहीं घरेलू निवेशकों ने 596 करोड़ रुपये की लिवाली की। अगस्त में विदेशी निवेशकों ने करीब 7500 करोड़ रुपये के शेयरों की बिकवाली की है।
खूब चमका सोना-चांदी
वैश्विक मंदी के बाबजूद घरेलू बाजार में रुपये में गिरावट के कारण सोने-चांदी की कीमतों में उछाल देखी गई। मुंबई हाजिर बाजार में सोना मंगलवार को 970 रुपये चढ़कर 32510 रुपये प्रति 10 ग्राम पर पहुंच गया। वहीं औद्योगिक मांग बढऩे से चांदी के भाव 1080 रुपये की तेजी के साथ 55,430 रुपये प्रति किलोग्राम तक जा पहुंचे। बाजार सूत्रों के अनुसार रुपये और शेयर बाजार में गिरावट से निवेशकों ने सोने में लिवाली की जिससे कीमतों में उछाल दर्ज की गई। हालांकि लंदन में सोना 0.3 फीसदी की गिरावट के साथ 1387. 45 डॉलर प्रति औंस पर कारोबार कर रहा था वहीं चांदी के भाव 0.3 फीसदी टूटकर 24.07 डॉलर प्रति औंस पर पहुंच गई।
सर्किट नियमों में बदलाव
भारतीय प्रतिभूति एवं विनिमय बोर्ड (सेबी) ने कहा है कि बीएसई सेंसेक्स और एनएसई निफ्टी के लिए सर्किट की उच्चतम और न्यूनतम सीमा का आकलन दैनिक आधार पर होना चाहिए। सेबी ने अपने परिपत्र में कहा है, 'स्टॉक एक्सचेंज को दैनिक आधार पर 10 फीसदी, 15 फीसदी और 20 फीसदी सर्किट की सीमा तय करनी चाहिए, जो एक दिन पहले के बंद स्तर के आधार पर तय होगी।Ó इससे पहले सर्किट सीमा तिमाही आधार पर तय होती थी। सेबी के नियमों के अनुसार अगर सेंसेक्स में 10 फीसदी की तेजी या गिरावट आती है तो एक्सचेंज पर कारोबार 1 घंटे के लिए रोक दिया जाता है। अगर सेंसेक्स में 15 फीसदी बदलाव होता है तो कारोबार 2 घंटे के लिए रोक दिया जाता है और अगर इसमें 20 फीसदी का उतार-चढ़ाव आता है दिन भर के लिए कारोबार रोक दिया जाता है।
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