साल 2030 तक देश में इलेक्ट्रिक वाहनों की कुल संख्या लगभग पांच करोड़ पहुंच जाएगी। ये चार्जिंग कंपनियों के लिए एक बड़ा अवसर होगा। सलाहकार फर्म KPMG की एक रिपोर्ट में ईवी की संख्या का ये अनुमान लगाया है। रिपोर्ट में ‘इलेक्ट्रिक व्हीकल्स चार्जिंग’ को भी आने वाले समय में एक बड़ा सेक्टर बताया गया है। पीटीआई की खबर के अनुसार, भारत में इलेक्ट्रिक वाहन तेजी से पॉपुलर हो रहे हैं और ये अब इलेक्ट्रिक वाहनों की ये रेंज समय के साथ मुख्यधारा में भी शामिल होती दिख रही हैं। केपीएमजी ने अपनी रिपोर्ट में बताया गया है कि इस समय दोपहिया, तिपहिया और इलेक्ट्रिक बसों की बिक्री में तेजी दर्ज की गई है। सेगमेंट से आ रही है. पिछले वित्त वर्ष में ईवी की बिक्री तीन गुना बढ़ी थी। रिपोर्ट के अनुसार इस समय देशभर में लगभग 1,700 सार्वजनिक चार्जिंग स्टेशन हैं, जो कि पर्याप्त नहीं होंगे अगर इसी तरह से इलेक्ट्रिक वाहनों की संख्या में बढ़त जारी रही। रिपोर्ट में कहा गया है कि भारतीय सड़कों पर मार्च, 2022 तक इलेक्ट्रिक वाहनों की संख्या 10 लाख के आंकड़े को पार कर गई थी। जो कि साल 2030 तक 4.5 से 5 करोड़ तक बढ़ने की संभावना है। ऐसे में ईवी चार्जिंग से जुड़ी कंपनियों के लिए यह एक बड़ा अवसर है।
