कर की समीक्षा की खबर से तेल फर्मों के शेयर चढ़े | विवेट सुजन पिंटो / मुंबई July 14, 2022 | | | | |
तेल कंपनियों मसलन रिलायंस इंडस्ट्रीज, ओएनजीसी और चेन्नई पेट्रोलियम कॉरपोरेशन के शेयरों में इस तरह की रिपोर्ट के बीच बढ़ोतरी दर्ज हुई कि सरकार पेट्रोल, डीजल और एटीएफ पर लगाए गए नए कर में कटौती पर विचार कर रही है, जिसकी घोषणा 1 जुलाई को हुई थी। ब्लूमबर्ग की रिपोर्ट में कहा गया है कि सरकार शुक्रवार को अप्रत्याशित कर में कटौती पर विचार कर सकती है, जिसकी वजह वैश्विक बाजार में कच्चे तेल की कीमतों में आई कमी है। ऐसे में जब व्यापक बाजार में नरमी थी तब बीएसई तेल व गैस इंडेक्स 1.6 फीसदी चढ़ गया।
बीएसई पर आरआईएल का शेयर कारोबारी सत्र के दौरान 2.4 फीसदी चढ़ गया। इसके अलावा ओएनजीसी में 6.4 फीसदी व एमआरपीएल व चेन्नई पेट्रोलियम में कारोबारी सत्र के दौरान 4-4 फीसदी का इजाफा हुआ।
हालांकि आरआईएल व एमआरपीएल के शेयर 2,397 रुपये व 71.8 रुपये पर स्थिर बंद हुए। ओएनजीसी व चेन्नई पेट्रोलियम के शेयर 2-2 फीसदी की बढ़त के साथ क्रमश: 127.2 व 268.7 रुपये पर बंद हुए।
ब्रेंट क्रूड की कीमतें मंदी के डर से पिछले एक महीने में घटी हैं और यह गुरुवार को 97 डॉलर पर आ गई, जो पहले 120 डॉलर पर थी।
पेट्रोल पर निर्यात कर में सबसे ज्यादा कमी देखने को मिल सकती है, वहीं डीजल व जेट ईंधन पर भी कर घटाया जाएगा ताकि कीमत में आई गिरावट को समायोजित किया जा सके। ब्लूमबर्ग की रिपोर्ट में ये बातें कही गई है।
बुधवार को ब्रोकरेज फर्म सीएलएसए ने एक रिपोर्ट में कहा था कि डीजल, पेट्रोल और एटीएफ पर रिफाइनिंग मार्जिन में भारी कमी कच्चे तेल की कीमतों में नरमी से टकरा रही है, जो जून के सर्वोच्च स्तर से नीचे आई है और इसने रिफाइनरों के बड़े लाभ की संभावना को खत्म कर दिया है। सीएलएसए ने कहा, ये चीजें दो हफ्ते पहले लगाए गए अप्रत्याशित कर के जारी रखने की आवश्यकता पर सवाल उठाती है। वित्त मंत्रालय ने 1 जुलाई को घोषणा के समय संकेत दिया था कि नए कर की समीक्षा हर पखवाड़े की जाएगी। सीएलएसए ने कहा कि अप्रत्याशित कर के क्रियान्वयन से डीजल व पेट्रोल पर रियलाइज्ड स्प्रेड नुकसान के स्तर के आसपास आ गया है, वहीं एटीएफ व क्रूड पर रियलाइजेशन 15 साल के औसत से नीचे चला गया।
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