एफपीआई निवेश इस साल सुस्त रह सकता है : गोल्डमैन सैक्स | पुनीत वाधवा / नई दिल्ली March 30, 2022 | | | | |
गोल्डमैन सैक्स की हालिया रिपोर्ट में कहा गया है कि भारत में विदेशी पोर्टफोलियो निवेश साल 2022 में सुस्त बना रह सकता है। गोल्डमैन सैक्स का अनुमान है कि भारत में साल 2022 के दौरान विदेशी पोर्टफोलियो निवेश 5 अरब डॉलर रह सकता है, जो पहले 30 अरब डॉलर रहने का अनुमान लगाया गया था।
गोल्डमैन सैक्स के मुख्य अर्थशास्त्री (एशिया प्रशांत) एंड्यू टिल्टन ने शांतनु सेनगुप्ता और सूरज कुमार के साथ लिखी रिपोर्ट में कहा है, भारत से इस साल अब तक 15 अरब डॉलर की निकासी हो चुकी है और सबसे बड़ी बीमा कंपनी का आईपीओ अभी आगे बढ़ गया है। इसके अतिरिक्त वैश्विक बॉन्ड सूचकांकों में भारत को शामिल कराने को लेकर बजट में कोई जिक्र न होने के कारण इस संबंध में घोषणा को लेकर हमारे अनुमान पर जोखिम है, जो चौथी तिमाही में हो सकता है।
उन्होंने कहा, भारत में मौद्रिक नीति के सहज होने की हमारी राय और अमेरिकी अर्थव्यवस्था की टीम की राय 2022 में फेड की तरफ से दरों में 200 आधार अंकों की बढ़ोतरी की है, ऐसे में भारत में निवेश सुस्त रह सकता है।
बोफा सिक्योरिटीज के नोट मेंं कहा गया है कि पिछले तीन साल में (2019-21) इक्विटी में निवेश 40 अरब डॉलर रहा है, जिसमें से 2022 की पहली तिमाही में 14 अरब डॉलर बचा रहा है।
बोफा सिक्योरिटीज के नोट में कहा गया है, सरकार की तरफ से कर सुधार और वृद्धि को रफ्तार देने पर ध्यान से ही निवेश आया है। चूंकि आरबीआई धीरे-धीरे मौद्रिक नीति को सख्त बनाने और 2022 के मध्य से ब्याज दरें बढ़ाने जा रहा है, ऐसे में हमारा अनुमान है कि नया निवेश आकर्षित करने के लिए बढ़त की रफ्तार बनाए रखने की दरकार होगी।
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