सेंसेक्स में 700 अंक की बढ़त | सुंदर सेतुरामन / मुंबई March 22, 2022 | | | | |
अनुकूल वैश्विक संकेतों के बीच सूचकांक में तगड़ा भारांश रखने वाली रिलायंस इंडस्ट्रीज और इन्फोसिस एवं टाटा कंसल्टेंसी सर्विसेज (टीसीएस) जैसी प्रमुख आईटी कंपनियों में बढ़त से भारतीय बाजार आज 1 फीसदी से ज्यादा चढ़ गया। फेड के चेयरमैन जेरोम पॉवेल के आक्रामक रुख भरे बयानों और तेल की कीमतों में बढ़ोतरी के बावजूद यह इजाफा हुआ है।
बेंचमार्क सेंसेक्स कमजोर शुरुआत के बाद 697 अंक या 1.22 फीसदी बढ़कर 57,989 पर बंद हुआ। निफ्टी 198 अंक या 1.16 फीसदी चढ़कर 17,316 पर बंद हुआ। आज की बढ़त विदेशी निवेशकों से 385 करोड़ रुपये की आवक की बदौलत रही। विशेषज्ञों ने कहा कि फेड के आक्रामक रुख के बयान खलल डाल रहे हैं मगर यूक्रेन में शांति की उम्मीदों से दुनिया भर में जोखिम उठाने का रुझान बढ़ रहा है। तुर्की ने रविवार को कहा कि रूस और यूक्रेन युद्ध रोकने की बातचीत पर आगे बढ़े हैं और दोनों युद्धरत पक्ष किसी समझौते के नजदीक हैं। ओआंडा में वरिष्ठ बाजार विश्लेषक (एशिया प्रशांत) जेफ्री हैली ने कहा, 'तुर्की ने सप्ताहांत में कहा था कि एक पक्ष शांति समझौते के नजदीक है मगर युद्ध जारी है और आगे के कोई संकेत नजर नहीं आ रहे हैं। बाजार इसे बहुत अहम मान रहे हैं, जो मेरी राय में भोलापन है।' उन्होंने कहा, 'बातचीत की प्रगति की खबरों से कुछ समय तक तेल में नरमी और शेयरों में बढ़ोतरी होगी।'
तेजी से बढ़ती कीमतों के कारण फेड समेत सभी केंद्रीय बैंक वृद्धि को सहारा देने के बजाय महंगाई नियंत्रण को प्राथमिकता देने के लिए बाध्य हुए हैं। केंद्रीय बैंकों ने पिछले साल ज्यादातर समय महंगाई को अस्थायी बताया था। रूस-यूूक्रेन युद्ध से आपूर्ति में अवरोध पैदा होने की चिंताओं के बीच तेल एवं धातुओं समेत जिंसों की कीमतों में तेजी आई है। विश्व भर के देशों में महामारी के कारण लगाए गए प्रतिबंधों को हटाया गया है, जिससे मांग बढ़ी है। ऐसे में युद्ध ने महंगाई का दबाव और बढ़ा दिया है। पॉवेल के सोमवार के बयान को अब तक का सबसे आक्रामक करार दिया गया है। उन्होंने कहा कि केंदीय बैंक को महंगाई नियंत्रित करने के लिए तेजी से दरें बढ़ानी चाहिए। पॉवेल ने कहा कि जरूरत पड़ी तो फेड एक से अधिक बार दरों में 25 आधार अंक से ज्यादा बढ़ोतरी करेगा। फेड के प्रमुख ने दोहराया कि केंद्रीय बैंक मई तक अपनी बैलेंसशीट घटाना शुरू कर देगा।
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