तेजी के बावजूद रियल्टी क्षेत्र पर उत्साहित बाजार | राम प्रसाद साहू / मुंबई November 14, 2021 | | | | |
बीएसई रियल्टी पिछले एक साल के दौरान 129 फीसदी के प्रतिफल के साथ शानदार प्रदर्शन वाला सेक्टोरल सूचकांक रहा। प्रख्यात फर्मों के सितंबर तिमाही के परिणाम, पंजीकरण आंकड़ों और बुकिंग से संकेत मिलता है कि तेजी भविष्य में बरकरार रह सकती है। मजबूत प्रदर्शन के बावजूद ब्रोकरों ने आगामी वर्ष के लिए मुख्य दांव के तौर पर इस क्षेत्र को पसंदीदा माना है।
हाल में भारत के लिए डाउनग्रेड रेटिंग देने वाली गोल्डमैन सैक्स ने कहा है कि रियल एस्टेट उसके चार पसंदीदा क्षेत्रों में से एक है। इस क्षेत्र के लिए पसंद इसलिए भी मजबूत हुई है क्योंकि उनका माननना है कि भारतीय इक्विटी के लिए रिस्क-रिवार्ड मौजूदा स्तरों पर कम आकर्षक है।
जहां इस क्षेत्र में ऐसे कई सेगमेंट है, जिन पर दलाल पथ ज्यादा उत्साहित है, जिनमें आवासीय, कार्यालय, मॉल और रियल एस्टेट निवेश ट्रस्ट या रीट्स शामिल हैं। एमके रिसर्च के राहुल जैन और आयुष बंसल का मानना है कि देश का आवासीय रियल एस्टेट बाजार उद्योग समेकन और सुरधरती आवासीय मांग की वह से आपूर्ति में तेजी के लिए तैयार है।
उनका मानना है कि आपूर्ति के मोर्चे पर, सक्रिय डेवलपरों की संख्या वित्त वर्ष 2012 के स्तरों से 35 प्रतिशत तक घटी है और नई आपूर्ति वित्त वर्ष 2021 में कुल खपत के 65 प्रतिशत पर है। मांग के मोर्चे पर, किफायती आवासीय क्षेत्र दशकीय ऊंचाई पर है, क्योंकि इसे कम मॉर्गेज दरों, कर राहत आदि से राहत मिली है।
कई प्रमुख कंपनियों की शेयर कीमतों को सितंबर तिमाही में शानदार बुकिंग और संपत्ति पंजीकरण आंकड़ों की वजह से मदद मिली है। अक्टूबर 2021 में, मुंबई ने एक दशक में सबसे ज्यादा परिसंपत्ति बिक्री पंजीकरण के आंकड़े दर्ज किए।
प्रॉपर्टी कंसल्टेंसी नाइट फ्रैंक का मानना है कि अक्टूबर 2020 के मुकाबले बिक्री 8,576 यूनिट के साथ 8 प्रतिशत सालाना आधार पर बढ़ी। अक्टूबर 2020 में स्टांप शुल्क दर 2 प्रतिशत के सबसे निचले स्तर पर थी। नाइट फ्रैंक के मुख्य प्रबंध निदेशक शिशिर बैजल का कहना है कि बगैर स्टांप शुल्क रियायत के भी, आवास ऋण ब्याज दर में भारी गिरावट की मदद से तेजी से सौदे होने, संपत्ति की कीमतें आकर्षक होने और डेवलपरों द्वारा नई परियोजनाओं पर आकर्षक ऑफर दिए जाने से भी मदद मिली है।
मांग में कुछ तेजी का असर सितंबर तिमाही में मैक्रोटेक (लोढ़ा) डेवलपर्स, ओबेरॉय रियल्टी, सनटेक रियल्टी जैसी सूचीबद्घ कंपनियों के परिचालन प्रदर्शन में स्पष्ट दिखा। मैक्रोटेक के लिए भारत में बिक्री बुकिंग 2,003 करोड़ रुपये पर दर्ज की गई जो सालाना आधार पर 88 प्रतिशत तक बढ़ी। ताजा पेशकशों के लिए, कंपनी वित्त वर्ष 2022 के 8,500-9,000 करोड़ रुपये बिक्री लक्ष्य की ओर तेजी से बढ़ रही है।
नई पेशकशों के अभाव के बावजूद, ओबेरॉय रियल्टी की बिक्री 828 करोड़ रुपये पर रही, जो एक साल पहले की तिमाही के मुकाबले 2.5 गुना थी जबकि इस अवधि के दौरान कारोबार 4.4 लाख वर्ग फुट पर दर्ज किया गया। कंपनी को वित्त वर्ष 2022 में 4,000 करोड़ रुपये की बिक्री बुकिंग का आंकड़ा पार होने की संभावना है।
एडलवाइस रिसर्च के परवेज काजी का मानना है कि दूसरी तिमाही में मौजूदा परियाजनाओं में इन्वेंट्री बिक्री सकारात्मक घटनाक्रम है, क्योंकि ओबेरॉय रियल्टी जून तिमाही के अंत तक सर्वाधिक इन्वेंट्री स्तरों (करीब 9,000 करोड़ रुपये) में शुमार थी और बिक्री भविष्य में नकदी प्रवाह के लिए अच्छा संकेत है।
सनटेक के लिए नई बुकिंग एक साल पहले की तिमाही के मुकाबले संग्रह में 47 प्रतिशत की तेजी के साथ सालाना आधार पर 36 प्रतिशत तक बढ़कर 271 करोड़ रुपये पर रही। कंपनी के पोर्टफोलियो में मौजूदा समय में 5 करोड़ वर्ग फुट की वर्तमान और आगामी परियोजनाएं शामिल हैं। गोदरेज प्रॉपर्टीज की बिक्री सालाना आधार पर 140 प्रतिशत बढ़कर 2,574 करोड़ रुपये बढ़ गई और उसने 17.3 लाख वर्ग फुट की बिक्री दर्ज की। बेंगलूरु स्थित रियल्टी कंपनी शोभा ने वैल्यू और बिक्री के संदर्भ में अच्छा प्रदर्शन किया। उसकी बिक्री सालाना और तिमाही आधार पर 51 प्रतिशत तक बढ़कर 13.5 लाख वर्ग फुट रही और बिक्री वैल्यू सालाना आधार पर 61 प्रतिशत तक बढ़कर 850 करोड़ रुपये पर पहुंच गई।
वहीं रीट्स में, जहां एम्बेसी ऑफिस पाक्र्स रीट और बु्रकफील्ड इंडिया रीट के लिए तिमाही मजबूत रही और लीजिंग गतिविधि में सुधार आने की संभावना है, लेकिन विश्लेषकों को ऑफिस स्पेस में रिकवरी की रफ्तार फिलहाल धीमी रहने का अनुमान है।
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