अगले वित्त वर्ष में ब्रोकरेज उद्योग में आएगी नरमी | सुंदर सेतुरामन / मुंबई February 23, 2021 | | | | |
मौजूदा वित्त वर्ष में देसी ब्रोकरेज उद्योग नई ऊंचाई पर पहुंच सकता है, लेकिन वित्त वर्ष 2022 में उद्योग के राजस्व की रफ्तार में नरमी की संभावना है। शोध व रेटिंग एजेंसी इक्रा ने मंगलवार को एक नोट में ये बातें कही।
इक्रा ने कहा कि ब्रोकरेज उद्योग मौजूदा वित्त वर्ष में 27,500-28,500 करोड़ रुपये की रिकॉर्ड ब्रोकिंग आय अर्जित कर सकता है, जो साल दर साल 30 से 35 फीसदी की रफ्तार का संकेत दे रहा है।
हालांकि बढ़त की रफ्तार अगले वित्त वर्ष में नरम होने की संभावना है क्योंंकि वॉल्यूम में धीरे-धीरे नरमी आएगी। इक्रा का मानना है कि उद्योग वित्त वर्ष 2022 में 29,500-30,500 करोड़ रुपये की आय अर्जित कर सकता है, जो सालाना आधार पर 7-8 फीसदी ज्यादा होगा। इक्रा की उपाध्यक्ष (वित्तीय क्षेत्र की रेटिंग) समृद्धि चौधरी ने कहा, खुदरा हिस्सेदारी में बढ़ोतरी और बढ़ती ब्याज व अन्य आय उद्योग के लाभ को सहारा देगी।
12 ब्रोकरेज के नमूने मेंं कुल राजस्व वित्त वर्ष 2016 से वित्त वर्ष 2020 के बीच सालाना 17 फीसदी चक्रवृद्धि की रफ्तार से बढ़ी। उद्योग के लिए वित्त वर्ष 2019 सुस्त रहा और उसके राजस्व व लाभ में कमी आई। पिछले वित्त वर्ष में ब्रोकरेज उद्योग का प्रदर्शन स्थिर रहा और इस साल तेज हुआ।
मौजूदा वित्त वर्ष पहली छमाही में नमूने में शामिल ब्रोकरेज फर्मों ने सालाना आधार पर ब्रोकिंग आय में 34 फीसदी व कुल राजस्व में 21 फीसदी की बढ़ोतरी दर्ज की।
इस अध्ययन में पाया गया कि 10 ब्रोकिंग कंपनियों का मार्जिन फंडिंग बताता है कि मार्च 2020 में यह आधा घटकर 4,600 करोड़ रुपये रह गया, जो वित्त वर्ष के दौरान 10,600 करोड़ रुपये के उच्चस्तर पर था। इसकी वजह पिछले वित्त वर्ष में प्रतिकूल पूंजी माहौल थी, खास तौर से मिडकैप व स्मॉल कैप क्षेत्र में।
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