रियल एस्टेट क्षेत्र में बढ़ रही हलचल | समरीन अहमद और राघवेंद्र कामत / बेंगलूरु/मुंबई August 17, 2020 | | | | |
कोविड से परेशान रियल एस्टेट क्षेत्र में खरीदारों के बढ़ते उत्साह और निर्माण गतिविधियों में तेजी से हलचल दिखने लगी है। आवासीय संपत्तियों की बिक्री में सुधार की आहट के बीच रियल एस्टेट कंपनियों ने आने वाली तिमाहियों में नई परियोजनाएं लाने के लिए कमर कस ली है। बेंगलूरु की रियल एस्टेट कंपनी प्रेस्टीज एस्टेट्स दूसरी और तीसरी तिमाहियों में सात नई परियोजनाएं लेकर आने वाली हैं। इससे पहले कंपनी ने सुस्त बाजार को देखते हुए अगस्त तक नई परियोजनाएं लाने की योजना टाल दी थी।
वित्त वर्ष 2020-21 की दूसरी तिमाही से दक्षिण भारत के विभिन्न हिस्सों में नई परियोजनाओं की शुरुआत के साथ कंपनी अपना कारोबार कोविड-19 से पूर्व के स्तर पर लाने के लिए जुट गई है। इस महामारी से पहले कंपनी हरेक तिमाही में 1,000 करोड़ रुपये से अधिक की बुकिंग और राजस्व हासिल कर रही थी। निवेशकों के साथ बातचीत में प्रेस्टीज एस्टेट्स के चेयरमैन एवं प्रबंध निदेशक इरफान रज्जाक ने कहा, 'दूसरी तिमाही में बिक्री पिछली तिमाही के मुकाबले निश्चित तौर पर
दोगुनी रहेगी।' आईसीआईसीआई सिक्योरिटीज के अनुमान के अनुसार कंपनी दक्षिण भारत में सस्ती एवं मझोली आवासीय परियोजनाओं पर ध्यान केंद्रित कर रही है। इस ब्रोकरेज कंपनी के अनुसार वित्त वर्ष 2022 के अंत तक होटल व्यवसाय में सुधार की उम्मीदों से कंपनी को अपना कारोबार पटरी पर लाने में मदद मिलेगी।
बेंगलूरु की ही रियल एस्टेट कंपनी पूर्वांकरा वित्त वर्ष 2021 में 3,000 करोड़ रुपये लागत से 11 नई परियोजनाएं शुरू कर रही है। इनमें से तीन परियोजनाएं हाल ही में शुरू की जा चुकी हैं। पूर्वांकरा के प्रबंध निदेशक आर पूर्वांकर ने कहा, 'हमारी इन तीनों परियोजनाओं में लोगों ने खासी दिलचस्पी दिखाई है और बुकिंग भी अधिक हुई है। इसमें कोई शक नहीं कि अब आवासीय जायदाद की मांग में तेजी आई है, लेकिन कोविड-19 संकट के बाद लोग अपनी जरूरतों के हिसाब से परियोजनाएं ढूंढ रहे हैं।' इन नई परियोजनाओं के साथ कंपनी ने मुंबई के रियल एस्टेट बाजार में दोबारा कदम रख दिया है।
कोविड-19 संकट और सुस्त अर्थव्यवस्था के कारण 2019 की दूसरी छमाही के मुकाबले इस वर्ष की पहली छमाही में नई आवासीय परियोजनाओं में 56 प्रतिशत तक गिरावट आई है। लेकिन रियल एस्टेट कारोबार पर नजर रखने वाली कंपनी एनारॉक कंसल्टेंट्स को लगता है कि रियल एस्टेट क्षेत्र में अब मजबूती आनी शुरू हो गई है। कंपनी का अनुमान है कि इस क्षेत्र की नामी कंपनियों का बाजार में 75 से 80 प्रतिशत हिस्से पर दबदबा रहेगा। 2020 की पहली छमाही में बिक्री 49 प्रतिशत लुढ़
देश की वित्तीय राजधानी मुंबई में ओबेरॉय रियल्टी जैसी कंपनियां दीवाली को ध्यान में रखकर नई परियोजनाएं ला रही हैं। गोरदेज प्रॉपर्टीज भी नई परियोजनाएं शुरू करने के लिए आवश्यक मंजूरी का इंतजार कर रही है। कंपनी ने वित्त वर्ष 2021 में 1.5 करोड़ वर्गफुट क्षेत्र में परियोजनाएं शुरू करने की योजना बनाई है। बिजनेस स्टैंडर्ड के साथ बातचीत में गोदरेज प्रॉपर्टीज के पिरोजशा गोदरेज ने कहा, 'नियामकीय मंजूरी मिलने के साथ ही हम अपनी परियोजनाएं शुरू कर देंगे। बाजार का मिजाज भांपकर हम जरूरत पडऩे पर रणनीति में बदलाव के लिए भी तैयार रहेंगे।' सीबीआरई इंडिया में प्रबंध निदेशक (पूंजी बाजार एवं आवासीय कारोबार) गौरव कुमार का कहना है कि पिछले छह महीने से रुकी हुई मांग, आवास ऋण पर ब्याज दर में कमी, तैयार मकानों की भरमार और घर से काम करने के नए चलन के कारण 2020 की दूसरी छमाही में रियल एस्टेट का कारोबार खासी तेजी पकड़ेगा। हालांकि एएसके प्रॉपर्टी इन्वेस्टमेंट एडवाइजर्स के प्रबंध निदेशक अमित भगत का कहना है कि सुधार की उम्मीदों के बावजूद रियल एस्टेट कंपनियों को सतर्क रहना होगा। उन्होंने कहा, 'मांग धीरे-धीरे सुधरेगी इसलिए रियल्टी डेवलपरों को को 2020-21 की दूसरी छमाही में सस्ती एवं मझोली आवासीय परियोजनाओं की शुरुआत पर ध्यान देना चाहिए। बिक्री से पहले मिलने वाली नकदी पर अधिक निर्भर रहने के बजाय कंपनियों को वित्तीय बंदोबस्त से जुड़ी कवायदें पहले ही पूरी कर लेनी चाहिए।'
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