जेएलआर में हिस्सा बेचेगा टाटा! | देव चटर्जी और शैली सेठ मोहिले / मुंबई August 16, 2020 | | | | |
ब्रिटेन की सरकार और टाटा समूह के बीच जगुआर लैंडरोवर (जेएलआर) को लेकर वित्तीय राहत पैकेज पर बातचीत विफल करने के बाद टाटा समूह जेएलआर के लिए रणनीति साझेदार तलाशेगी और ब्रिटेन के स्टील संयंत्र को बेच सकता है।
टाटा स्टील और टाटा मोटर्स के एक पूर्व निदेशक ने कहा कि दोनों कंपनियों के यूरोपीय परिचालन की वजह से प्रवर्तक कंपनी पर वित्तीय दबाव बढ़ रहा है। ऐसे में समूह जल्द ही कोई समाधान लाएगा। उन्होंने कहा, 'मैं जेएलआर में हिस्सेदारी की बिक्री और ब्रिटेन के स्टील परिचालन की पूरी तरह से बिक्री की संभावना से इनकार नहीं करता हूं। टाटा स्टील के यूरोपीय परिचालन के टिसेनक्रुप के साथ विलय को लेकर लंबे समय सेे बातचीत चल रही है जो अच्छी खबर नहीं है।'
टाटा मोटर्स के एक प्रवक्ता ने कहा कि जेएलआर विभिन्न मसलों पर ब्रिटेन की सरकार के साथ नियमित तौर पर चर्चा करती रहती है। उन्होंने कहा, 'फिलहाल जेएलआर के लिए किसी उपयुक्त कार्यक्रम पर विचार नहीं किया गया है। हमने हाल ही में तीसरी तिमाही के नतीजों की घोषणा की है और संकेत दिया था कि महामारी के बावजूद हमने मजबूत तरलता बनाए रखी है। टाटा स्टील के प्रवक्ता ने कहा कि टाटा स्टील संभावित मदद के लिए ब्रिटेन की सरकार के साथ रचनात्मक बातचीत कर रही है। अभी बातचीत का कोई हल नहीं निकला है। ऐसे में कोई प्रतिक्रिया देना उचित नहीं होगा।
जुलाई में लिबर्टी हाउस ने टाटा के ब्रिटेन संयंत्र में साझेदारी के लिए दिलचस्पी दिखाई थी।
टाटा मोटर्स की जेएलआर की भी स्थिति खराब है और पिछले छह महीने में उसे करीब एक अरब पाउंड का नुकसान हुआ है। कोरोना से पहले भी टाटा समूह ने हिस्सा बेचने के लिए बातचीत शुरू की थी लेकिन बात नहीं बनी थी।
जेएलआर में करीब 30,000 कर्मचारी काम करते हैं, वहीं टाटा स्टील के ब्रिटेन संयंत्र में 8,000 कर्मचारी हैं। इन कंपनियों ने ब्रिटेन की सरकार से राहत के लिए वित्तीय पैकेज की मांग की है। हालांकि सरकार की ओर से राहत योजना के लिए कड़ी शर्तें रखे जाने की वजह से बातचीत विफल रही। इसमें जेएलआर से डीजल वाहनों की तुलना में इलेक्ट्रिक वाहनों का उत्पादन ज्यादा करने को भी कहा गया था।
कोरोना महामारी से ठीक पहले वैश्विक ब्रोकरेज फर्म बर्नस्टीन ने कहा था कि टाटा मोटर्स जेएलआर के लिए 9 अरब पाउंड का मूल्यांकन हासिल कर सकती है। इससे पहले खबर आई थी कि बीएमडब्ल्यू की जेएलआर में हिस्सा खरीदने में दिलचस्पी है।
बर्नस्टीन ने कहा कि जेएलआर की समस्या से टाटा समूह पर असर पड़ रहा है। कंपनी के पास विशेषज्ञता, संसाधनों और कंपनी को उबारने का कोई समाधान नहीं दिख रहा है।
रिपोर्ट में कहा गया था, 'पिछले 10 साल में जेएलआर ने कई मुकाम हासिल किए हैं लेकिन कंपनी को जेएलआर के लिए रणनीति समाधान तलाशने की जरूरत है। 9 अरब पाउंड मिलने से टाटा मोटर्स के शेयर भाव में इजाफा होगा।' बीएमडब्ल्यू के पास पर्याप्त पूंजी है और वह जेएलआर के लिए मुफीद कंपनी हो सकती है। ब्रोकरेज फर्म की रिपोर्ट में कहा गया है, 'जेएलआर को बुक वैल्यू से कम पर अधिग्रहीत किया जा सकता है। हालांकि बीएमडब्ल्यू की मदद से यह मुनाफे में लौट सकती है।'
|