वेंटिलेटर की जरूरत वाले मरीज बेहद कम: स्वास्थ्य मंत्रालय | रुचिका चित्रवंशी / August 04, 2020 | | | | |
देश में कोरोनावायरस के कुल सक्रिय मामलों में से केवल 0.27 प्रतिशत लोगों को वेंटिलेटर की जरूरत पड़ी है और वेंटिलेटर निर्माण में भारत की आत्मनिर्भरता पर जोर देते हुए स्वास्थ्य मंत्रालय ने मंगलवार को बताया कि मात्रा के लिहाज से घरेलू उत्पादन की हिस्सेदारी 96 फीसदी के स्तर पर पहुंच चुकी है।
इसके अलावा, भारत अपनी जांच क्षमता भी बढ़ा रहा है जिसने अब तक 2 करोड़ से अधिक जांच की हैं और एक ही दिन में 6 लाख जांच की गई है जो एक दिन में की गई सबसे अधिक जांच है। लगभग 25-30 प्रतिशत जांच रैपिड ऐंटीजन टेस्ट (आरएटी) है जबकि बाकी आरटी-पीसीआर जांच है जिसे कोविड की जांच के लिए सबसे बेहतरीन मानक माना जाता है।
भारतीय चिकित्सा एवं अनुसंधान परिषद (आईसीएमआर) के महानिदेशक बलराम भार्गव ने कहा, 'हमने एक बेहतरीन जांच की नीति को अपनाया है जिसके आधार पर उन क्षेत्रों में अधिक जांच कराई जा रही है जहां जांच की ज्यादा जरूरत है। हम रोजाना 10 लाख जांच के स्तर तक पहुंचने की कोशिश कर रहे हैं।'
आईसीएमआर ने महामारी से निपटने के लिए राज्यों से कहा है कि वे अपने डेटा का विश्लेषण करें ताकि उसके मुताबिक ही कदम उठाए जाएं। भार्गव ने कहा, 'अब पर्याप्त डेटा है। राज्यों को 'महामारी के बारे में जानने' की जरूरत है।'
कोविड टीका के मुद्दे पर भार्गव ने कहा कि टीके से जुड़ी कोई दवा उपलब्ध नहीं है लेकिन अब केवल टीके के निर्माण की बात ही अहम नहीं है बल्कि उसके वितरण की प्राथमिकता भी शामिल है जिसके लिए लॉजिस्टिक, कोल्ड चेन, भंडारण और लोगों को टीके का प्रशिक्षण देना भी जरूरी है।
भारत बायोटेक, जाइडस कैडिला ने परीक्षण का एक चरण पूरा कर लिया है और यह 11 जगहों पर दूसरे चरण का परीक्षण करने जा रही है। सीरम संस्थान जल्द ही एक हफ्ते के भीतर ऑक्सफर्ड विश्वविद्यालय-एस्ट्रा जेनेका टीके के दूसरे चरण का परीक्षण शुरू करेगा।
हालांकि इस महामारी की मृत्यु दर अब 2.1 प्रतिशत पर है जो लॉकडाउन लगाए जाने के बाद से सबसे कम है। स्वास्थ्य मंत्रालय ने इन आरोपों को खारिज कर दिया कि कुछ राज्य कोरोनावायरस से होने वाली मौत का सही आंकड़ा नहीं दे रहे हैं। मंत्रालय ने कहा कि जिन राज्यों में सबसे ज्यादा कोविड से मौत हुई है वे उन राज्यों में शामिल हैं जिनमें पंजीकरण और मृत्यु का चिकित्सा प्रमाणपत्र देने की दर काफी ज्यादा है।
मिसाल के तौर पर स्वास्थ्य मंत्रालय के अनुसार, इलाज के दौरान हुई प्रमाणित मौतों का राष्ट्रीय औसत लगभग 22 प्रतिशत है जबकि यह महाराष्ट्र में 67 प्रतिशत, दिल्ली में 69 प्रतिशत और तमिलनाडु में 85 प्रतिशत से अधिक है।
स्वास्थ्य सचिव राजेश भूषण ने कहा, 'कुल राज्य वैसे मरीजों की मौत को कोविड से होने वाली मौत के रूप में दर्ज नहीं कर रहे थे जिन्हें कोई दूसरी बीमारी भी थी। हमने स्पष्ट किया कि जो मरीज कोविड पॉजिटिव थे उनकी मृत्यु को एक मानक रिपोर्टिंग प्रणाली के लिए कोविड मौतों के रूप में वर्गीकृत किया जाए।'
देश में कुल जांच में पॉजिटिव मामलों की दर देश में फिलहाल 8 फीसदी से अधिक है। भूषण कहते हैं, अगर पॉजिटिव मामले बढ़ते हैं तो चिंता करने की कोई जरूरत नहीं है। संक्रमितों का समय पर पता चल जाना, उन्हें अलग-थलग करना और उनका इलाज करना महत्त्वपूर्ण है।'
कोरोना : घटनाक्रम
► देश में कोरोनावायरस से संक्रमित 52,050 नए मरीज सामने आने के बाद कुल संक्रमितों की संख्या 18,55,745 हो गई। इसके साथ ही मंगलवार तक 12 लाख से ज्यादा लोग स्वस्थ भी हो चुके हैं
► पेट्रोलियम मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने कहा कि वह कोरोना वायरस से संक्रमित पाए गए हैं। उन्हें मेदांता अस्पताल में भर्ती कराया गया है
► झारखंड की राजधानी रांची के होटवार स्थित बिरसा मुंडा कारागार में दो पूर्व मंत्रियों राजा पीटर एवं एनोस एक्का समेत 40 कैदी तथा 14 कर्मी कोरोनावायरस से संक्रमित पाए गए हैं
► कर्नाटक के पूर्व मुख्यमंत्री सिद्धरमैया ने मंगलवार को बताया कि वह कोरोनावायरस से संक्रमित हैं और डॉक्टरों की सलाह पर उन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया है
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