जर्मनी से निवेश प्रोत्साहित करने के लिए उत्तर प्रदेश की योगी सरकार अलग से जर्मन पार्क बना सकती है। इस खास औद्योगिक पार्क में जर्मनी से आने वाली कंपनियों को जमीन सहित अन्य सुविधाएं दी जाएंगी। प्रदेश सरकार ने कहा कि जर्मनी से निवेश करने वाली कंपनियों की तादाद बढऩे पर इस दिशा में कदम उठाए जाएंगे। इससे पहले उत्तर प्रदेश ने जापान के उद्यमियों के लिए अलग से आवासीय परिसर बनाने सहित एक भाषा संबंधी संस्थान की पहल की थी। कोरोना संकट के इस दौर में विदेशी निवेश को उत्तर प्रदेश लाने के लिए विभिन्न देशों से संपर्क साधा जा रहा है। अब तक ब्रिटेन, थाईलैंड, कोरिया सहित कई यूरोपीय देशों के उद्यमियों और अधिकारियों से बातचीत की जा चुकी है। उत्तर प्रदेश के सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यम, निवेश एवं निर्यात प्रोत्साहन मंत्री सिद्धार्थ नाथ सिंह ने आज जर्मनी में भारत की राजदूत मुक्ता दत्त तोमर से उत्तर प्रदेश में जर्मनी का निवेश बढ़ाने के लिए वेबिनार के माध्यम से संवाद किया। जर्मन निवेशकों को उत्तर प्रदेश में लाने की संभावनओं पर यहां पर दी जाने वाली सहूलियतों व रियायतों के बारे में बताया गया। सिंह ने कहा कि कोरोना महामारी सामान्य होने के बाद जर्मनी में खादी के फैशन शो का आयोजन कराया जाएगा। इससे वहां के लोग खादी से परिचित होगें और खादी वस्त्रों के निर्यात को बढ़ावा भी मिलेगा। उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश सरकार जर्मनी के निवेशकों की सुविधा के लिए जर्मन पार्क बनाने की पहल कर सकती है। उत्तर प्रदेश के हस्तशिल्प का जर्मनी में बड़ा बाजार है। तोमर ने बताया कि कोरोना महामारी के कारण जर्मनी में आपूर्ति शृंखला प्रभावित हुई है और इसमें बहुत बड़ा अंतर आ गया है। जर्मनी के अंदर आपूर्ति शृंखला बढ़ाने के लिए बहुत तेजी से कार्य किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश जर्मनी के उद्यमियों के लिए एक अच्छा आपूर्ति शृंखला केंद्र बन सकता है।
