एचडीएफसी बैंक ने अपने कारोबार की वृद्धि बढ़ाने के लिए टियर-1, टियर-2 और लंबी अवधि के बॉन्डों के जरिये 50,000 करोड़ रुपये जुटाने की योजना बनाई है। देश का यह निजी क्षेत्र का सबसे बड़ा बैंक चालू वित्त वर्ष में अपनी प्रवर्तक एचडीएफसी से 28,000 करोड़ रुपये तक के आवास ऋण खरीदेगा। एचडीएफसी बैंक की सालाना आम बैठक 18 जुलाई 2020 को होगी। इसकी सूचना के मुताबिक बैंक ने अनसिक्योर्ड परपिच्यूअल डेट इंस्ट्रुमेंट (अतिरिक्त टियर 1 पूंजी का हिस्सा), टियर 2 कैपिटल बॉन्ड जारी करने के लिए शेयरधारकों की मंजूरी मांगी है। यह प्राइवेट प्लेसमेंट आधार पर लंबी अवधि के बॉन्ड (बुनियादी ढांचा एवं किफायती आवास का वित्त पोषण) जारी करने के लिए भी मंजूरी लेगा। यह बैठक कोविड-19 महामारी की वजह से वीडियो कॉन्फ्रेंस के जरिये होगी। बैंक का कुल पूंजी पर्याप्तता अनुपात मार्च 2020 में 18.5 फीसदी था, जो नियामक की तरफ से निर्धारित न्यूनतम जरूरत 11.075 फीसदी से काफी अधिक था। बैंक की टियर 1 पूंजी 31 मार्च 2020 को 17.2 फीसदी थी। बैंक की ऑडिट समिति ने एचडीएफसी लिमिटेड से वित्त वर्ष 2019-20 के लिए 25,000 करोड़ रुपये और वित्त वर्ष 2020-21 के लिए 28,000 करोड़ रुपये तक के आवास ऋण खरीदने की मंजूरी दे दी है। बैंक और एचडीएफसी के बीच की व्यवस्था के मुताबिक बैंक भारत में अपनी शाखाओं के जरिये एचडीएफसी के आवास ऋण खरीदता है। एचडीएफसी आवश्यक जांच-पड़ताल के बाद ऋणों को मंजूर एवं वितरित करती है। बैंक को 70 फीसदी तक या वितरित आवास ऋणों एवं उन्हें लेने पर बनी ऐसी किसी सहमति के प्रतिशत को खरीदने का अधिकार है, मगर बाध्यता नहीं है। बैंक ने आवास ऋणों के बारे में कहा कि उसने समीक्षाधीन वर्ष में हर माह औसतन 2,350 करोड़ रुपये के आवास ऋण दिए हैं और 24,127 करोड़ रुपये के ऋण खरीदे हैं।
