मार्च 2021 तक एचएफसी का एनपीए 2.5-3 फीसदी रहने की आशंका | अभिजित लेले / मुंबई June 27, 2020 | | | | |
बड़े आर्थिक दबाव से कर्जदारों का नकदी प्रवाह प्रभावित होने से आवास वित्त कंपनियों (एचएफसी) की परिसंपत्ति गुणवत्ता प्रभावित होने की आशंका गहरा गई है। रेटिंग एजेंसी इक्रा के अनुसार एचएफसी की सकल गैर-निष्पादित आस्तियां (एनपीए) मार्च 2020 के 1.7 के अनुमान के मुकाबले वित्त वर्ष 2021 में बढ़कर 2.5-3 प्रतिशत हो जाने की आशंका है। गैर-आवास खंड में एनपीए में ज्यादा इजाफा देखा जा सकता है जिससे कुल जीएनपीए वित्त वर्ष 2021 के अंत तक 3-4.5 प्रतिशत दर्ज किया जा सकता है, जो वित्त वर्ष 2020 के लिए 2.5 फीसदी अनुमानित था।
इक्रा की उपाध्यक्ष (फाइनैंशियल सेक्टर रेटिंग्स) सुप्रीता निज्जर ने कहा कि सुरक्षित प्रवृत्ति की वजह से आवास ऋण को लेकर स्थिति अन्य परिसंपत्ति वर्गों के मुकाबले ज्यादा मजबूत रह सकती है। लेकिन कर्जदारों की आय को नुकसान से आवास ऋण खंड में भी जीएनपीए बढ़ सकता है।
31 मई 2020 तक एचएफसी का करीब 30 प्रतिशत पोर्टफोलियो ईएमआई स्थगन के तहत शामिल था। कर्जदारों के नकदी प्रवाह पर संभावित प्रभाव को देखते हुए ईएमआई भुगतान स्थगन हटाए जाने पर इन खातों से फंसे कर्ज की समस्या और गहरा सकती है। जहां तक किफायती आवास खंड में एचएफसी का सवाल है तो उनका अपेक्षाकृत कमजोर कर्जदार प्रोफाइल की वजह से ईएमआई स्थगन के तहत पोर्टफोलियो का बड़ा हिस्सा शामिल है। यह कोविड-19 संबंधित लॉकडाउन के दौरान और ज्यादा प्रभावित हो सकता है। उन कर्जदारों पर प्रभाव ज्यादा पड़ सकता है जिन्होंने ईएमआई स्थगन का विकल्प अपनाया है, क्योंकि इसके तहत आय अनुपात के मुकाबले निर्धारित देनदारी (एफओआईआर) 50 प्रतिशत से ज्यादा है। स्थिर आय स्तरों पर भी, एफओआईआर 14 और 18 प्रतिशत के दायरे में ऊंची ब्याज दरों पर हाल के ऋणों के लिए 20-30 प्रतिशत तक बढ़ सकता है।
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