तेजी से बढ़ते फूड ऐप पर लगाम कसेगी बिहार सरकार | बीएस संवाददाता / पटना April 16, 2019 | | | | |
बिहार सरकार अब खाने का ऑनलाइन ऑर्डर लेने एवं इसकी आपूर्ति करने वाली कंपनियों पर लगाम कसने की तैयारी में है। अब ऐसी कंपनियों को राज्य सरकार से लाइसेंस लेना होगा। इसके अलावा उन्हें भारतीय खाद्य संरक्षा मानक प्राधिकरण (एफ एसएसएआई) के नियमों का भी पालन करना होगा। बिहार में मोबाइल ऐप्लीकेशंन (ऐप) जरिये खाने का ऑर्डर लेने और पहुंचाने वाली कंपनियों के पांव पसारने के मद्देनजर राज्य सरकार ने यह कदम उठाया है। राज्य के स्वास्थ्य विभाग ने इन कंपनियों पर लगाम कसने का फैसला लिया है। इसके तहत इन कंपनियों को अब बिहार में कारोबार करने के लिए राज्य सरकार से लाइसेंस लेना होगा।
इन कंपनियों को खाना पहुंचाने वाले 'डिलिवरी ब्वाइज' के बारे में भी सूचना देनी होगी। इन लोगों के ड्राइविंग लाइसेंस, वाहनों के पंजीकरण और दूसरी जानकारियां भी राज्य के राज्य खाद्य संरक्षा प्राधिकार को मुहैया करानी होगी। इसके अलावाए इन कंपनियों को एफ एसएसएआई के नियमों का भी पालन करना होगा और प्राधिकरण में निबंधन कराना होगा। इन कंपनियों को अपने बैग पर कंपनी के लोगों के साथ ही एफ एसएसएआई का लोगो भी लगाना होगा। राज्य खाद्य संरक्षा प्राधिकार के अधिकारियों ने बताया कि बिहार के कई शहरों में अब ये कंपनियां काम कर रही हैं, इसलिए इनके कारोबार के नियमन की जरूरत आन पड़ी है।
दूसरे चरण के लिए थमा चुनाव प्रचार
लोकसभा चुनाव के दूसरे चरण के मतदान के लिए मंगलवार को प्रचार थम गया। इन चरण में राज्य की बांका, भागलपुर, पूर्णिया, कटिहार और किशनगंज सीटों पर गुरुवार को मतदान होना है। इस चरण में कुल मिलाकर 68 उम्मीदवार मैदान में हैं। 'महागठबंधन' की ओर से 3 सीटों पर कांग्रेस और दो पर राजद के उम्मीदवार किस्मत आजमा रहे हैं। राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन की ओर से सभी सीटों पर जनता दल यूनाइटेड ने अपने उम्मीदवार खड़े किए हैं।
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