प्रमुख फूड कंपनी नेस्ले इंडिया की मात्रात्मक बिक्री में 2015 के बाद लगातार वृद्धि दर्ज किए जाने के बावजूद वह मैगी पर प्रतिबंध से पहले के स्तर तक नहीं पहुंच पाई है। देश की इस सबसे बड़ी फूड एवं बेवरिजेस कंपनी की कुल मात्रात्मक बिक्री 2018 में 4,47,155 टन रही जबकि 2014 में यह आंकड़ा 4,55,897 टन रहा था। कंपनी की श्रेणीवार मात्रात्मक बिक्री में भी निचले स्तर से लगातार बढ़त के बावजूद 2015 में मैगी संकट से तत्काल पहले के स्तर तक नहीं पहुंच पाई है।
प्रमुख फूड कंपनी नेस्ले इंडिया की मात्रात्मक बिक्री में 2015 के बाद लगातार वृद्धि दर्ज किए जाने के बावजूद वह मैगी पर प्रतिबंध से पहले के स्तर तक नहीं पहुंच पाई है। देश की इस सबसे बड़ी फूड एवं बेवरिजेस कंपनी की कुल मात्रात्मक बिक्री 2018 में 4,47,155 टन रही जबकि 2014 में यह आंकड़ा 4,55,897 टन रहा था। कंपनी की श्रेणीवार मात्रात्मक बिक्री में भी निचले स्तर से लगातार बढ़त के बावजूद 2015 में मैगी संकट से तत्काल पहले के स्तर तक नहीं पहुंच पाई है।
इंस्टैंट नूडल्स बनाने वाली देश की सबसे बड़ी कंपनी नेस्ले इंडिया ने 2014 में अपने प्रमुख ब्रांड मैगी के तहत 2,54,553 टन खाद्य वस्तुओं की बिक्री की थी। वर्ष 2018 के दौरान इस श्रेणी में उसकी मात्रात्मक बिक्री 2,40,879 टन रही जो 2014 के मुकाबले 5.4 फीसदी कम है।
हालांकि 2018 में इससे पिछले वर्ष के मुकाबले मात्रात्मक बिक्री में 14.5 फीसदी की वृद्धि दर्ज की गई। मैगी ब्रांड के तहत इंस्टैंट नूडल्स, पास्ता, केचप और मसाले जैसे तैयार खाद्य पदार्थ आते हैं जो कंपनी के शुद्ध राजस्व में 27.7 फीसदी का योगदान करता है। मैगी पर पाबंदी के बाद के वर्षों के दौरान बिक्री में आई गिरावट के रूप में उस संकट का सीधा असर देखा जा सकता है। वर्ष 2015 में भारत में इंस्टैंट नूडल्स की खपत पर व्यापक तौर पर प्रतिबंध लगा दिया गया था और इसलिए उसकी मात्रात्मक बिक्री 59.5 फीसदी घटकर 1,03,138 टन रह गई थी। हालांकि उसके बाद नेस्ले के बिक्री आंकड़ों में धीरे-धीरे बढ़त दर्ज की गई जो हर साल लगभग दो अंकों में रही।
मात्रात्मक बिक्री के लिहाज से कंपनी की दूसरी सबसे बड़ी श्रेणी दूध एवं पोषक आहार पोर्टफोलियो है। हालांकि यह 2014 के आंकड़े को पार कर लिया है लेकिन 2013 के स्तर से वह अब भी पीछे है। वर्ष 2018 में इस श्रेणी की मात्रात्मक बिक्री पिछले साल के मुकाबले 4.8 फीसदी बढ़कर 1,37,066 टन हो गई। वर्ष 2013 में कंपनी ने 1,38,772 टन दूध एवं पोषक आहार उत्पादों की बिक्री की थी। कंपनी की इस श्रेणी में नैन, लैक्टोजेन और सेरेलैक जैसे प्रमुख उत्पाद शामिल हैं। कंपनी के कुल 11,216 करोड़ रुपये के राजस्व में इस श्रेणी का योगदान 51.8 फीसदी है।
कंपनी के बेवरिजेस पोर्टफोलियो में प्रमुख कॉफी ब्रांड नैसकैफे शामिल है। वर्ष 2018 में इस श्रेणी की मात्रात्मक बिक्री एक साल पहले के मुकाबले 10.6 फीसदी बढ़कर 27,013 टन हो गई। लेकिन यह 2013 में हुई 27,717 टन की बिक्री के मुकाबले कम है। कंपनी की शुद्ध बिक्री में इस श्रेणी का योगदान घटकर 13.6 फीसदी रह गया जो 2017 में 13.7 फीसदी रहा था।एडलवाइस सिक्योरिटीज के वरिष्ठ उपाध्यक्ष अबनीश रॉय ने कहा कि पीने के लिए तैयार चाय एवं कॉफी जैसे नए उत्पादों और नैसकैफे सनराइज ब्रांड के तहत प्रीमियम उत्पादों से आगामी वर्षों में बिक्री को रफ्तार मिलेगी।
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