'आजादी की लड़ाई से कम नहीं चुनाव' | |
अर्चिस मोहन / 03 12, 2019 | | | | |
प्रियंका गांधी ने लोगों को जिंदगी प्रभावित करने वाले सवाल पूछ कर अपनी
देशभक्ति दिखाने को कहा
लोकसभा चुनावों से पहले कांग्रेस की निर्णय लेने वाली शीर्ष संस्था, कांग्रेस कार्यसमिति (सीडब्ल्यूसी) की मंगलवार को अहमदाबाद में आखिरी बैठक हुई जिसमें कांग्रेस नेतृत्व ने इस बात पर निराशा जताई कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी अपनी विफलताओं, फर्जी दावों और निरंतर बोले गए झूठ से ध्यान भटकाने के लिए राष्ट्रीय सुरक्षा के मुद्दे पर लोगों की भावनाओं का फायदा उठा रहे हैं। कार्यसमिति की बैठक में पारित राजनीतिक प्रस्ताव में कांग्रेस ने कहा, 'मोदी और भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) की सरकार के पांच सालों का कार्यकाल झूठे वादों और लोगों के विश्वास और भरोसे से धोखाधड़ी करने का रहा है। पार्टी मोदी सरकार की आलोचना उन वास्तविक मुद्दों के आधार पर करेगी जो लोगों को प्रभावित करते हैं जैसे कि रोजगार और कृषि संकट।'
इस बैठक में आकर्षण का केंद्र पार्टी की महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा रहीं जिनकी सीडब्ल्यूसी सदस्य के तौर पर पहली आधिकारिक बैठक थी। बैठक में प्रियंका ने कहा कि पार्टी ने न्यूनतम आय गारंटी का जो प्रस्ताव दिया है उसके बेहतर प्रचार की जरूरत है और उन्होंने एनवाईएवाई एक्रनिम या हिंदी में न्यूनतम आय योजना का सुझाव दिया। बाद में उन्होंने एक जनसभा को संबोधित करते हुए लोगों से अपील की कि वे देश के प्रति अपनी देशभक्ति दिखाते हुए उन मुद्दों से जुड़े सवाल पूछें जो उनकी जिंदगी को प्रभावित करते हैं।
उन्होंने कहा, 'यह गांधी और अन्य नेताओं द्वारा लड़ी गई आजादी की लड़ाई से जरा भी कम नहीं है।' उन्होंने लोगों को याद दिलाया कि महात्मा गांधी ने 1930 में आज ही के दिन साबरमती आश्रम से ऐतिहासिक दांडी यात्रा शुरू की थी। कांग्रेस कार्यकर्ता उनके भाषण के बीच में ही नारे लगा रहे थे जो उनमें उनकी दादी और पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी की छवि देखते हैं। हालांकि उन्होंने कोई लंबा भाषण नहीं दिया जिससे कि पार्टी अध्यक्ष और उनके राहुल गांधी का भाषण प्रभावित हो।
बैठक में पारित प्रस्ताव में कांग्रेस ने प्रधानमंत्री के गृह राज्य से सभी लोकतांत्रिक और प्रगतिशील दलों को एकजुट रहने और अपनी ऊर्जा भाजपा सरकार की जनविरोधी नीतियों का पर्दाफाश करने में लगाने का आह्वान किया। पार्टी ने इन दलों से अपील की कि वे मोदी सरकार द्वारा 2014 में किए गए वादे को पूरा करने में नाकाम रहने की बात उजागर करें और उन वास्तविक मुद्दों पर बात करें जो आमजनों को प्रभावित करती हैं। कांग्रेस ने यह संकेत दिया कि पार्टी ने भाजपा को हराने के लिए चुनाव पूर्व एक प्रभावी गठबंधन बनाने की कोशिश की।
राहुल ने कहा कि राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) की फासीवाद और घृणा और विभाजन की विचारधारा को पराजित करने के लिए कोई भी त्याग बड़ा नहीं है। कांग्रेस अध्यक्ष ने कहा कि कांग्रेस एकजुट विपक्ष के साथ लोकसभा चुनाव लड़ेगी और अगर सबकुछ अच्छा रहा तो जीत भी मिलेगी। पार्टी के नेता पी चिदंबरम ने कहा कि कांग्रेस को 150 सीटें जीतनी चाहिए और चुनाव पूर्व तथा चुनाव के बाद होने वाले गठबंधन को भी इतनी ही सीटें मिलें। चिदंबरम ने कहा कि पार्टी घोषणापत्र तैयार किए जाने के आखिरी चरण में है। संयुक्त प्रगतिशील गठबंधन (संप्रग) की अध्यक्ष सोनिया गांधी ने कहा कि प्रधानमंत्री खुद को पीडि़त के तौर पर पेश करते हैं।
कांग्रेस अध्यक्ष, संप्रग की अध्यक्ष और राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने राफेल लड़ाकू विमान सौदे में कथित अनियमितता की बात की। कांग्रेस के अन्य नेताओं ने भी सीडब्ल्यूसी की बैठक में यह मुद्दा उठाया। हालांकि पार्टी के राजनीतिक प्रस्ताव में राफेल मुद्दे का जिक्र नहीं था। बाद में जनसभा में कांग्रेस अध्यक्ष ने राफेल मुद्दे पर जमकर बोला। पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने मोदी सरकार की नाकामी, आधी-अधूरी नीतियों और झूठ को बढ़ावा देने पर चर्चा की। उन्होंने कहा कि इस वक्त संप्रग शासनकाल के दौर की उपलब्धियों को दर्शाने की जरूरत है। बैठक में पारित प्रस्ताव में कांग्रेस ने कहा कि सरकार सभी मोर्चे पर नाकाम रही है और इसने लोगों पर नोटबंदी का फैसला थोपकर और जल्दबाजी में वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी) लागू कर लोगों को मुसीबत में डाला है।
कांग्रेस ने उन मुद्दों पर फिर से जोर दिया जिनके बारे में पार्टी का मानना है कि उससे आम लोग प्रभावित हुए और इसी वजह से भाजपा को तीन राज्यों में हार का मुंह देखना पड़ा। कांग्रेस के प्रस्ताव में कहा गया, 'नोटबंदी और जीएसटी की वजह से लाखों फैक्टरियां बंद हो गईं, असंगठित क्षेत्र, सूक्ष्म, लघु एवं मझोले उद्यम बुरी तरह प्रभावित हुए और लाखों लोगों का रोजगार और आजीविका छिन गई। देश में अप्रत्याशित बेरोजगारी, कृषि संकट, किसानों के संकट और भूमिहीन श्रमिकों की परेशानी गंभीर चिंता का विषय है।'
इसमें कहा गया कि मोदी सरकार भारतीय अर्थव्यवस्था के ऐतिहासिक कुप्रबंधन की दोषी है। प्रस्ताव में कहा गया कि राष्ट्रीय बचत और निवेश में कमी आई है जबकि बैंकों पर फंसे कर्जों का बोझ बढ़ा है और उद्योग में कर्ज लेने की रफ्तार रिकॉर्ड निचलेस्तर पर पहुंच चुकी है। आरपीएन सिंह जैसे नेताओं ने कहा कि पुलवामा आतंकी हमला और बाद में हुई सर्जिकल स्ट्राइक से भाजपा का समर्थन आधार मजबूत हुआ है। सीडब्ल्यूसी की बैठक की शुरुआत में पुलवामा आतंकी हमले में शहीद हुए जवानों को श्रद्धांजलि दी गई।
पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने मंगलवार को राज्य में लोकसभा की सभी 42 सीटों के लिए तृणमूल कांग्रेस के उम्मीदवारों की सूची जारी करते हुए 10 मौजूदा सांसदों का नाम काट दिया। उन्होंने भाजपा और मोदी सरकार पर हमला करते हुए कहा कि ऐसी सूचनाएं हैं कि वीवीआईपी मतदाताओं को घूस देने के लिए हेलिकॉप्टरों और चार्टर्ड विमानों के जरिये धन पहुंचा रहे हैं। उन्होंने कहा कि सूची में 41 प्रतिशत उम्मीदवार महिलाएं हैं। उन्होंने कहा कि तृणमूल कांग्रेस ओडिशा, असम, झारखंड, बिहार और अंडमान में कुछ सीटों पर चुनाव लड़ेगी।
लोकसभा चुनाव में भाजपा को टक्कर देने के लिए विपक्षी दलों के महागठबंधन की संभावनाओं को झटका लगा है। बहुजन समाज पार्टी (बसपा) ने मंगलवार को साफ कर दिया कि वह 11 अप्रैल से शुरू हो रहे चुनाव में कांग्रेस के साथ किसी भी राज्य में गठबंधन नहीं करेगी। मायावती ने एक बयान में कहा, 'यह बात फिर से स्पष्ट की जा रही है कि बसपा किसी भी राज्य में कांग्रेस के साथ गठबंधन नहीं करेगी।'
आम आदमी पार्टी (आप) और कांग्रेस के बीच भले ही लोकसभा चुनावों के लिए गठबंधन की बात पटरी पर नहीं आ पा रही हो लेकिन पंजाब में पार्टी की अकाली दल के बागी नेताओं के साथ चुनावी गठबंधन को लेकर बातचीत जारी है। आप के संयोजक अरविंद केजरीवाल ने संवाददाता सम्मेलन में कहा कि अकाली दल से अलग हुए नेताओं के साथ चुनावी गठबंधन के बारे में आप की पंजाब इकाई के संयोजक भगवंत मान बातचीत कर रहे हैं।
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