धनशोधन अधिनियम की विशेष अदालत (पीएमएलए) ने फाइनैंशियल टेक्नोलॉजिज इंडिया लिमिटेड (एफटीआईएल) के संस्थापक जिग्नेश शाह, एमसीएक्स एसएक्स के जोसेफ मैसी और एनएसईएल के पूर्व सीईओ अंजनी सिन्हा आदि को समन भेजा है, जो नैशनल स्पॉट एक्सचेंज घोटाला मामले में प्रवर्तन निदेशालय की चार्जशीट में शामिल 68 आरोपियों में शामिल हैं। विशेष अदालत ने सभी आरोपियों को 7 जुलाई को अदालत में उपस्थित होने को कहा है। प्रवर्तन निदेशालय के एक सूत्र ने कहा, अदालत ने इसका संज्ञान लिया है। ट्रायल सभी आरोपियों की मौजूदगी में होगा क्योंकि यह गैर-जमानती अपराध है। प्रवर्तन एजेंसी ने पिछले साल मार्च में पीएमएलए के तहत एनएसईएल व 67 अन्य को 3721.22 करोड़ रुपये से ज्यादा के घोटाले में आरोपी बनाया था। किसी व्यक्ति पर अभियोग चलाने का मतलब यह है कि किसी अपराध में उसकी भूमिका को लेकर अदालत में उसे आरोपी बनाया गया है।एक ईमेल के जवाब में एनएसईएल के प्रवक्ता ने कहा, प्रवर्तन निदेशालय ने पिछले साल चार्जशीट दाखिल की थी और इसकी सुनवाई 16 मई को होनी थी, जो 7 जुलाई तक टल गई थी। यह अदालत की सामान्य कार्यवाही/सुनवाई है और हम अदालती कार्यवाही व इसके नतीजे की रिपोर्ट का अनुरोध तभी करते हैं ताकि कानूनी प्रक्रिया अनुचित तौर पर प्रभावित न हो। चार्जशीट पर सुनवाई अटक गई थी क्योंकि अदालत ने पिछले साल कुछ चीजें सामने रखी थी, जिसे एजेंसी ने ठीक कर दिया था। मामले के आरोपियों को मई में समन भेजा गया था, लेकिन सुनवाई टल गई। आर्थिक अपराध शाखा ने जिग्नेश शाह को गिरफ्तार किया था और अगस्त 2014 में जमानत पर रिहा किया था। उन्होंने एफटीआईएल के प्रबंध निदेशक पद से इस्तीफा दे दिया था और इसके मानद चेयरमैन बन गए थे।
