वित्त मंत्री अरुण जेटली ने आज कहा कि सरकार सामान्य परिवर्जन रोधी नियमों (गार) को एक अप्रैल 2017 से लागू करने के लिए प्रतिबद्ध है। वित्त मंत्री अरूण जेटली ने 2016-17 का आम बजट लोकसभा में पेश करते हुए कहा, 'मैं यह दोहराना चाहता हूं कि हम सामान्य कर परिवर्जन रोधी नियमों (गार) को अप्रैल 2017 से लागू करने को प्रतिबद्ध हूं।' वित्त मंत्री ने पिछले बजट में गार को लागू करने की समयसीमा दो साल आगे खिसका दी थी। इससे पहले सरकार ने एक अप्रैल 2015 से गार लागू करने का प्रस्ताव किया था। ए नियम उनके लिए हैं जो कि तीन करोड़ रुपये से अधिक के कर लाभ का दावा करते हैं। इन नियमों का मकसद कर छूट के लिहाज से स्वर्ग माने जाने वाले क्षेत्रों में स्थित कंपनियों द्वारा कर भुगतान से बचने को कम से कम करना है। ओईसीडी और जी-20 पहल के तहत मुनाफे को अन्यत्र भेजे जाने और आधार का क्षरण (बीईपीएस) की अपनी प्रतिबद्धताओं को पूरा करने के लिए वित्त विधेयक 2016 में 75 करोड़ यूरो से अधिक सकल राजस्व आय वाली कंपनियों के देशवार रिपोर्टिंग का प्रावधान किया गया है। राजस्व सचिव हसमुख अधिया ने कहा कि अंतरराष्ट्रीय समुदाय भी गार का समर्थन कर रहा है।
