कोविड-19 संक्रमण के बढ़ते मामले को देखते हुए केंद्रीय स्वास्थ्य सचिव ने पांच राज्यों महाराष्ट्र, कर्नाटक, केरल, तेलंगाना और तमिलनाडु को पत्र लिखकर सतर्कता बढ़ाने और संक्रमण के तेज प्रसार को नियंत्रित करने के लिए पहले से तय किए गए कदमों को उठाने के लिए कहा है।
3 जून को स्वास्थ्य मंत्रालय ने बुलेटिन में कहा कि भारत ने पिछले 24 घंटे में 4041 ताजा मामले दर्ज किए। भारत के सक्रिय मामले अब 21,177 के आंकड़े तक सीमित हैं।
केंद्रीय स्वास्थ्य सचिव राजेश भूषण का कहना है कि पिछले एक हफ्ते में संक्रमण के मामले में थोड़ी तेजी देखी गई है और 27 मई को खत्म हुए सप्ताह के 15,708 मामले से बढ़कर 3 जून को खत्म हुए सप्ताह में 21,055 मामले हो गए। इसके अलावा साप्ताहिक संक्रमण दर 27 मई के हफ्ते में 0.52 प्रतिशत थी जो 3 जून को खत्म हुए सप्ताह के दौरान 0.73 प्रतिशत हो गई। उन्होंने अपने पत्र में कहा कि कुछ राज्य भारत के कुल संक्रमण मामले में अधिक संक्रमण दर दर्शा रहे हैं जिससे स्थानीय स्तर पर संक्रमण के संकेत मिलते हैं।
मिसाल के तौर पर महाराष्ट्र ने 27 मई के हफ्ते के दौरान 2471 मामले दर्ज किए जो 3 जून को बढ़कर 4,883 हो गए। देश के कुल संक्रमण मामले में महाराष्ट्र का योगदान 23.19 फीसदी रहा। राज्य में संक्रमण दर पिछले हफ्ते के 1.5 फीसदी से बढ़कर 3.1 फीसदी तक हो गई
वहीं दूसरी तरफ केरल ने 3 जून को खत्म हुए सप्ताह के दौरान 6566 मामले दर्ज किए जबकि इससे पिछले हफ्ते संक्रमण के 4139 मामले थे। राज्य में संक्रमण दर ने 7.8 प्रतिशत के स्तर को छू लिया। राज्य में करीब 11 जिले ने कोविड-19 मामले में तेजी देखी है। इसी तरह पत्र में कहा गया है कि मुंबई के छह जिले में लक्षित हस्तक्षेप बढ़ाने की जरूरत है।
महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे ने गुरुवार को राज्य के कोविड-19 कार्यबल की एक बैठक बुलाई थी ताकि इस मुद्दे पर चर्चा की जा सके और इसमें कहा गया था कि राज्य सरकार 15 दिनों तक हालात की निगरानी करेगी। उन्होंने अस्पतालों को तैयार रहने के लिए कहा है और लोगों से गुजारिश की है कि अगर वे फिर से प्रतिबंध नहीं चाहते हैं तो उन्हें अनुशासन का पालन करना होगा।
केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने इन पांच राज्यों से कहा है कि वे कोविड-19 अनुकूल व्यवहार सुनिश्चित करें और विभिन्न क्लस्टर में कोविड-19 मामलों, और एन्फ्लूएंजा जैसी बीमारियों के उभरते मामलों और अंतरराष्ट्रीय यात्रियों के नमूनों की जिनोमिक सिक्वेंसिंग की निगरानी करें।
