भारतीय रिजर्व बैंक की मौद्रिक नीति समिति (एमपीसी) ने चालू वित्त वर्ष के लिए खुदरा मूल्य आधारित मुद्रास्फीति के लिए अपने पूर्वानुमान को 6.7 प्रतिशत पर बरकरार रखा है। समिति ने वित्त वर्ष 2023 की दूसरी और तीसरी तिमाहियों के लिए अपने अनुमान में संशोधन किया है। एमपीसी ने आज रीपो दर में 50 आधार अंकों की वृद्धि की है।
एमपीसी ने कहा है कि भू-राजनीतिक उथल-पुथल के कारण मुद्रास्फीति के ग्राफ में काफी अनिश्चितता दिख रही है। ऐसे में समिति को लगता है कि दूसरी तिमाही में उपभोक्ता मूल्य सूचकांक (सीपीआई) आधारित महंगाई दर 7.1 फीसदी रहेगी जबकि पहले इसे 7.4 फीसदी रहने का अनुमान जाहिर किया गया था। हालांकि तीसरी तिमाही में यह 6.2 फीसदी के पूर्व अनुमान के मुकाबले मामूली बढ़कर 6.4 फीसदी होगी। मौद्रिक नीति समिति ने अप्रैल और जून के समीक्षा स्तरों पर सभी चार तिमाहियों के लिए सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) संबंधी अपने पूर्वानुमान को 7.2 फीसदी पर बरकरार रखा। हालांकि आर्थिक वृद्धि संबंधी समिति के पूर्वानुमान को परखा जाना अभी बाकी है।
