सैंतीस वर्षीय पराग अग्रवाल एक बड़ी प्रौद्योगिकी फर्म का नेतृत्व करने वाले सबसे कम उम्र के मुख्य कार्याधिकारी (सीईओ) बन गए हैं लेकिन ट्विटर के इस नए प्रमुख के बारे में लोग कम ही जानते हैं।
साल 2017 से ही ट्विटर के मुख्य प्रौद्योगिकी अधिकारी के तौर पर अपनी जिम्मेदारी संभाल रहे अग्रवाल पिछले कुछ वर्षों के दोरान माइक्रोब्लॉगिंग प्लेटफॉर्म की सबसे अधिक महत्वाकांक्षी परियोजनाओं का नेतृत्व किया है। इसके अलावा भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान बंबई के इस पूर्व छात्र के बारे में लोगों को काफी कुछ पता नहीं है।
आईआईटी बंबई के आधिकारिक ट्विटर हैंडल पर मंगलवार को कहा गया, ‘हमारे पूर्व छात्र डॉ. पराग अग्रवाल को ट्विटर के नए सीईओ के तौर पर नियुक्ति के लिए बधाई। डॉ. अग्रवाल ने 2005 में आईआईटी बंबई से कंप्यूटर साइंस एवं इंजीनियरिंग में बीटेक की डिग्री हासिल की थी। उन्होंने 2011 में ट्विटर में काम करना शुरू किया था और 2017 में उन्हें सीटीओ बनाया गया था।’
विश्लेषक लंबे समय से ट्विटर की मुद्रीकरण रणनीति और गलत सूचनाओं को रोकने के तरीके पर सवाल उठाते रहे हैं। इस प्लेटफॉर्म पर राजनीतिक तौर पर पूर्वाग्रह से ग्रसित होने का भी आरोप लगाया गया है।
ट्विटर पिछले एक साल के दौरान टिकटेड स्पेस जैसे उत्पाद तैयार करने की कोशिश कर रही थी जहां फेसबुक जैसी बड़ी प्रतिस्पर्धियों के मुकाबले काफी कुछ करने की गुंजाइश है जिसे हाल में मेटा के तौर नए सिरे से ब्रांडिंग की गई है। इसके अलावा अग्रवाल को गलत सूचना के मोर्चे पर भी कड़ी मेहनत करनी होगी।
पिछले साल एमआईटी टेक्नोलॉजी रीव्यू ‘एमटेक स्टेज: ट्विटर्स सीटीओ ऑन मिसइन्फॉर्मेशन’ के एक पॉडकास्ट में अग्रवाल ने इस माइक्रोब्लॉगिंग प्लेटफॉर्म को परेशान करने वाले कई मुद्दों के बारे में बात की थी।
गलत सूचना के बारे में पूछे गए एक सवाल के जवाब में अग्रवाल ने कहा था, ‘मैं समझता हूं कि यह हमारे समय के अस्तित्व का सवाल है। गतल सूचना को परिभाषित करना वास्तव में काफी कठिन है। समय के साथ-साथ हम जो सीखते हैं उसी से सच्चाई के लिए हमारी समझ विकसित होती है। हमारा सच्चाई के बारे में निर्णय लेने की कोशिश नहीं करते हैं बल्कि हमारा ध्यान नुकसान की आशंका पर होती है। और जब हम करते हैं कि विश्वसनीय सूत्रों का अभाव है तो हम उस बातचीत को प्लेटफॉर्म पर जानी नहीं करते हैं। हम इस प्लेटफॉर्म पर मौजूद कुछ सामग्रियों के संभावित नुकसान पर कहीं अधिक ध्यान केंद्रित करते हैं।’
इस साल के आरंभ में ट्विटर और भारत सरकार के बीच सामग्री से लेकर नियामकीय तक कई मुद्दों पर तकरार दिखा था। ट्विटर ने अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डॉनल्ड ट्रंप पर भी कार्रवाई की थी।
