देश की सबसे बड़ी बुनियादी ढांचा, निर्माण एवं इंजीनियरिंग कंपनी लार्सन ऐंड टुब्रो (एलऐंडटी) का शेयर पिछले शुक्रवार को एक नई सर्वकालिक ऊंचाई पर पहुंच गया। वह बेंचमार्क सेंसेक्स में 1 फीसदी की वृद्धि के मुकाबले 2.8 फीसदी की बढ़त के साथ बंद हुआ। मुंबई की इस कंपनी का शेयर मूल्य चालू कैलेंडर वर्ष की शुरुआत के बाद अब तक 30 फीसदी बढ़त दर्ज कर चुका है जबकि बेंचमार्क सेंसेक्स में इस दौरान महज 16 फीसदी की बढ़त हुई। कुल मिलाकर पिछले साल मार्च के अंत के बाद इस शेयर में अब तक 107 फीसदी की वृद्धि हो चुकी है जबकि सेंसेक्स में इस दौरान महज 88 फीसदी की वृद्धि हुई।
इस प्रकार एलऐंडटी मौजूदा वैश्विक महामारी के दौरान शीर्ष प्रदर्शन करने वाले लार्ज कैप शेयरों की जमात में शामिल हो गई। हालांकि एलऐंडटी के आंकड़ों पर गहराई से गौर करने पर पता चलता है कि निर्माण, इंजीनियरिंग और पूंजीगत वस्तुओं के विनिर्माण संबंधी अपने मूल कारोबार के बजाय सहायक इकाइयों के दमदार प्रदर्शन ने उसे काफी हद तक संचालित किया। यह एलऐंडटी और उसकी सहायक इकाइयों के बाजार पूंजीकरण की तुलना करने से साफ पता चलता है। एलऐंडटी की चार सूचीबद्ध सहायक इकाइयों का एकीकृत बाजार पूंजीकरण 1.93 लाख करोड़ रुपये है जो एलऐंडटी के बाजार पूंजीकरण के 82 फीसदी के बराबर है। जबकि मार्च 2020 के अंत वह 53 फीसदी के बराबर और करीब 5 साल पहले अगस्त 2016 में यह महज 20 फीसदी के बराबर था।
पिछले पांच वर्षों के दौरान एलऐंडटी के बाजार पूंजीकरण में महज 66 फीसदी की वृद्धि हुई जबकि उसकी सहायक इकाइयों के बाजार पूंजीकरण में करीब 600 फीसदी का इजाफा हुआ। इन चार सूचीबद्ध सहायक इकाइयों में एलऐंडटी की हिस्सेदारी करीब 16,000 करोड़ रुपये की निवेश लागत के मुकाबले बढ़कर अब 1.36 लाख करोड़ रुपये तक पहुंच चुकी है।
विश्लेषकों का कहना है कि इससे एलऐंडटी के मूल्य को काफी बढ़ावा मिला है। परिणामस्वरूप एलऐंडटी के प्रमुख कारोबार के कमजोर प्रदर्शन के बावजूद उसके शेयर मूल्य में उल्लेखनीय तेजी दिख रही है। एलऐंडटी अपनी सहायक इकाइयों से लाभांश आय भी अर्जित करती है जिससे उसके मुनाफे को बल मिला है। इन चार सूचीबद्ध कंपनियों में एलऐंडटी की हिस्सेदारी 62 से 75 फीसदी के दायरे में है।
कंपनी की वृद्धि को सबसे अधिक रफ्तार उसकी आईटी एवं प्रौद्योगिकी सेवा कारोबार से मिली है जिसका दायरा तीनों सूचीबद्ध कंपनियों तक फैला है। इसके मुकाबले वित्तीय सेवा कारोबार का प्रदर्शन पिछले कुछ वर्षों के दौरान कमजोर रहा है। कंपनी के आईटी एवं प्रौद्योगिकी सेवा कारोबार में उसकी तीन सहायक कंपनियां- एलऐंडटी इन्फोटेक, एलऐंडटी टेक्नोलॉजी सर्विसेज और माइंडट्री- समाहित हैं। एलऐंडटी ने जुलाई 2019 में आक्रामक तरीके से माइंडट्री का अधिग्रहण किया था। एलऐंडटी के वित्तीय सेवा कारोबार के तहत एलऐंडटी फाइनैंस होल्डिंग्स है। यह सूचीबद्ध होने वाली एलऐंडटी की पहली सहायक इकाई है।
इन तीनों आईटी एवं प्रौद्योगिकी कंपनियों का एकीकृत बाजार पूंजीकरण अब करीब 1.72 लाख करोड़ रुपये हो चुका है जो एलऐंडटी के बाजार पूंजीकरण का करीब तीन चौथाई है। यह एलऐंडटी को बाजार पूंजीकरण के संदर्भ में देश की पांचवीं सबसे बड़ी आईटी सेवा कंपनी बनाती है जो टेक महिंद्रा और एचसीएल टेक्नोलॉजिज से पीछे है। टेक महिंद्रा राजस्व के मोर्चे पर अभी भी करीब 50 फीसदी बड़ी है।
एलऐंडटी का प्रमुख कारोबार पिछले पांच वर्षों के दौरान लगभग स्थिर रहा है। समेकित राजस्व और मुनाफे के मोर्चे पर अधिकांश वृद्धि को मुख्य तौर पर उसकी आईटी सेवा एवं वित्तीय सेवा क्षेत्र की सहायक इकाइयों से रफ्तार मिली है। वित्त वर्ष 2021 में कंपनी कंपनी के आईटी एवं प्रौद्योगिकी सेवा और वित्तीय सेवा कारोबार का एलऐंडटी के समेकित कर पूर्व लाभ में करीब 42 फीसदी योगदान था जो वित्त वर्ष 2020 में 37.6 फीसदी और वित्त वर्ष 2018 में 29 फीसदी रहा था।