कालरॉक – जालान कंसोर्टियम ने आज एक बयान जारी कर कहा कि जेट एयरवेज अपनी नई पारी में 2022 की पहली तिमाही में पहली उड़ान के साथ अपना परिचालन सुचारु करेगी। कंसोर्टियम ने कहा कि अगले पांच साल में इस विमानन कंपनी के बेड़े में 100 से अधिक विमान होंगे। विमानन कंपनी का मुख्यालय अब दिल्ली स्थानांतरित होगा। उसने कहा कि विमानन कंपनी दिल्ली-मुंबई मार्ग पर अपनी पहली उड़ान भरेगी।
नैशनल कंपनी लॉ ट्रिब्यूनल (एनसीएलटी) ने 22 जून को बंद हो चुकी विमानन कंपनी जेट एयरवेज को पुनर्जीवित करने के लिए कालरॉक-जालाना कंसोर्टियम के प्रस्ताव को मंजूरी दी थी। इस विमानन कंपनी का परिचालन अप्रैल 2019 से ही बंद है। कंसोर्टियम ने इस विमानन कंपनी का परिचालन सुचारु करने के लिए करीब 150 कर्मचारियों को नियुक्त किया है और वह विमान पट्टादारों से बातचीत कर रहा है।
जेट एयरवेज के परिचालन प्रमाण पत्र को नए सिरे से वैधता प्रदान करने की प्रक्रिया चल रही है। इसके अलावा कंसोर्टियम रात की पार्किंग सुविधा और स्लॉट के लिए विभिन्न हवाई अड्डïों से बातचीत कर रहा है।
हालांकि कंसोर्टियम को जेट एयरवेज के लिए पुनरुद्धार योजना को लागू करने के लिए एनसीएलटी से अतिरिक्त समय लेना होगा क्योंकि 22 जून के आदेश के तहत निर्धारित 90 दिनों की समय-सीमा इसी महीने खत्म हो रही है। इसके अलावा विमानन कंपनी के पुनरुद्धार योजना को कर्मचारी यूनियन और पंजाब नैशनल बैंक से कानूनी चुनौतियों से भी जूझना पड़ रहा है। हालांकि कंसोर्टियम ने निर्धारित समय-सीमा को पूरा करने के लिए विश्वास जताया है।
कंसोर्टियम के प्रमुख सदस्य मुरारी लाल जालान ने कहा, ‘जेट एयरवेज ने अपनी दूसरी पारी में घरेलू परिचालन 2022 की पहली तिमाही से सुचारु करने का लक्ष्य रखा है जबकि छोटे विमानों के साथ अंतरराष्टï्रीय परिचालन 2022 की तीसरी अथवा चौथी तिमाही से शुरू किया जाएगा। हमारी योजना अगले तीन साल में 50 से अधिक और पांच साल में 100 से अधिक विमानों को अपने बेड़े में शामिल करने की है। यह कंसोर्टियम की लघु अवधि और दीर्घावधि कारोबारी योजना के बिल्कुल अनुरूप है। विमानों का चयन प्रतिस्पर्धी दीर्घकालिक पट्टा समाधान के आधार पर किया जा रहा है।’
विमानन कंपनी के मुख्य कार्याधिकारी सुधीर गौड़ ने कहा, ‘जेट एयरवेज का मुख्यालय अब दिल्ली-एनसीआर में होगा जबकि विमानन कंपनी के शीर्ष प्रबंधन गुरुग्राम में कॉरपोरेट कार्यालय से काम करेंगे। हालांकि जेट एयरवेज की मुंबई में दमदार और उल्लेखनीय मौजूदगी बरकरार रहेगी।’
विमानन कंपनी का प्रशिक्षण केंद्र मुंबई के बाहर से काम करना जारी रखेगा। पायलट और केबिन क्रू को विमानन कंपनी में अपना काम शुरू करने से पहले रिफ्रेशर प्रशिक्षण कार्यक्रम से गुजरना होगा। पायलट के मामले में इसमें ग्राउंड क्लासेस और सिम्युलेटर प्रशिक्षण शामिल हैं। उद्योग सूत्रों ने बताया कि विमानन कंपनी एयरबस और बोइंग दोनों से बातचीत कर रही है और करीब 20 विमानों को अपने बेड़े में शामिल करने की कोशिश में जुटी है।